जनता दल यूनाइटेड के प्रदेश अध्‍यक्ष वशिष्‍ठ नारायण सिंह यानी ‘दादा जी’ की  नयी टीम में जदयू के राष्‍ट्रीय अध्‍यक्ष नीतीश कुमार को भी शामिल किया गया है। प्रदेश अध्‍यक्ष श्री सिंह के हस्‍ताक्षर से प्रदेश कार्यसमिति की सूची 10 नवंबर जारी की गयी है। इसमें उपाध्‍यक्ष, महासचिव, सचिव, संगठन सचिव, प्रवक्‍ता, प्रकोष्‍ठों के अध्‍यक्षों के नामों की सूची जारी की गयी है। उसी सूची में राज्‍य कार्यकारिणी 2016 की सूची जारी की गयी, जिसमें 24 सदस्‍य हैं। राज्‍य कार्यकारिणी में पहले सदस्‍य के रूप में नीतीश कुमार का नाम है। जरूरी नहीं है कि यह नाम राष्‍ट्रीय अध्‍यक्ष नीतीश कुमार का ही हो, लेकिन पार्टी में कोई दूसरा नीतीश कुमार हैं भी नहीं।jdu

वीरेंद्र यादव

 

राज्‍य कार्यकारिणी में राष्‍ट्रीय अध्‍यक्ष का नाम प्रोटोकाल के अनुसार नहीं हो सकता है। यह राजनीतिक दलों की मान्‍य परंपरा भी नहीं है, लेकिन जदयू की बिहार प्रदेश कार्यकारिणी में पार्टी के राष्‍ट्रीय अध्‍यक्ष नीतीश कुमार को शामिल किया गया है। ऐसे में स्‍वाभाविक सवाल उठता है कि राज्‍य कार्यकारिणी में राष्‍ट्रीय अध्‍यक्ष का नाम कैसे जुट गया। इसके लिए कई स्‍तरों पर गलती हो सकती है। नयी कार्यकारिणी में बहुत सारे पुराने सदस्‍यों को यथावत रख गया है। संभव है कि उस लिस्‍ट में कोई परिवर्तन नहीं किया गया हो, इसलिए पुरानी लिस्‍ट को नयी सूची के रूप में जारी कर दिया हो। हालांकि इस गलती की संभावना कम है, क्‍योंकि सरकार में शामिल जदयू के लगभग सभी मंत्रियों को राज्‍य कार्यकारिणी में शामिल किया गया है। यानी सूची नए ढंग से बनायी गयी है। खास बात यह है कि जिस पन्‍ने पर नीतीश कुमार का नाम शामिल है, उस पन्‍ने में प्रदेश अध्‍यक्ष का हस्‍ताक्षर नहीं है।   nb

 

जारी हो सकती है नयी सूची 

गलती की दूसरी संभावना अध्‍यक्षीय कार्यालय स्‍तर पर हो सकती है। अध्‍यक्ष ने सभी मंत्रियों को राज्‍यकार्यकारिणी में शामिल करने का निर्णय लिया हो और सहायक ने सूची में सीएम का नाम भी जोड़ दिया हो। जबकि राष्‍ट्रीय अध्‍यक्ष होने के नाते उनका नाम नहीं जोड़ना था। खैर, जो भी, इतना तय है कि प्रदेश अध्‍यक्ष वशिष्‍ठ नारायण सिंह को अपनी प्रदेश कार्यकारिणी की सूची नये सिरे से जारी करनी पड़ सकती है।

By Editor