कांग्रेस और गैर भाजपा शासित राज्यों के बहिष्कार के बीच हुई नीति आयोग की महत्वपूर्ण बैठक में बुधवार को राज्यों ने केन्द्र से भूमि अधिग्रहण विधेयक पर शीघ्र सर्वसम्मति बनाने की अपील करते हुए कहा कि यदि ऐसा नहीं होता है तो उन्हें इसके लिए अपनी जरूरत के अनुसार कानून बनाने की अनुमति दी जानी चाहिए। 

The Prime Minister, Shri Narendra Modi chairing the 2nd meeting of the Governing Council of NITI Aayog, in New Delhi on July 15, 2015.

 

 

 

16 राज्‍यों के सीएम हुए शामिल

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में नई दिल्‍ली में हुई नीति आयोग की संचालन परिषद की दूसरी बैठक में 16 राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने कमोबेश यह राय जाहिर की। कांग्रेस शासित नौ राज्यों के साथ साथ उत्तर प्रदेश , पश्चिम बंगाल  और ओडिशा के मुख्यमंत्रियों ने बैठक में हिस्सा नहीं लिया, लेकिन बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और दिल्ली के मुख्यमंत्री केजरीवाल बैठक में मौजूद थे।  बैठक के बाद वित्त मंत्री अरूण जेटली ने संवाददाता सम्मेलन में बताया कि सभी राज्यों ने कहा कि विकास के लिए भूमि अधिग्रहण जरूरी है और केन्द्र सरकार इसके लिए जल्द सर्वसम्मति बनाये । उन्होंने कहा कि यदि सर्वसम्मति नहीं बनती है तो उन्हें अपनी जरूरत के हिसाब से भूमि अधिग्रहण कानून बनाने की अनुमति दी जाये।
 

सर्वसम्‍मति बनाने की कोशिश

श्री जेटली ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने राज्यों को विश्वास दिलाया कि विकास की गतिविधियों को रूकने नहीं दिया जायेगा और उनके सभी सुझावों पर विचार किया जायेगा। श्री मोदी ने यह भी कहा कि 2013 का कानून भी सर्वसम्मति से पारित किया गया था, लेकिन कुछ राज्यों ने विकास कार्य में आ रही अड़चनों को देखते हुए इसमें संशोधन की मांग की, इसीलिए इस कानून को बदला गया है।  यह पूछे जाने पर कि कई राज्यों ने बैठक में हिस्सा नहीं लिया, इस पर श्री जेटली ने कहा कि यह सहकारी संघवाद की भावना के खिलाफ है। उन्हें बैठक में आकर अपने विचार व्यक्त करने चाहिए थे।

By Editor