कांग्रेस ने राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के उपराष्ट्रपति पद के उम्मीदवार वेंकैया नायडू पर अपनी बेटी और बेटे को लाभ पहुंचाने का आरोप लगाते हुए कहा कि पारदर्शिता और जवाबदेही की वकालत करने वाले श्री नायडू को देश को इन आरोपों का जवाब देना चाहिए। कांग्रेस के वरिष्ठ प्रवक्ता जयराम रमेश ने संसद भवन परिसर में आयोजित विशेष संवाददाता सम्मेलन में आरोप लगाया कि श्री नायडू ने अपने प्रभाव का इस्तेमाल कर सरकार को चूना लगाया और बेटी तथा बेटे को पांच सौ करोड़ रुपए का फायदा पहुंचाया।

श्री रमेश ने आरोप लगाया कि श्री नायडू के प्रभाव में तेलंगाना सरकार ने गत 20 जून को एक विशेष आदेश जारी किया और स्वर्णभारत ट्रस्ट को सरकार को दो करोड़ रुपए से ज्यादा के विकास शुल्क का भुगतान करने से छूट दे दी। इस ट्रस्ट में श्री नायडू की बेटी प्रबंधन ट्रस्टी हैं। उन्होंने कहा कि इसी तरह से श्री नायडू के बेटे को फायदा पहुंचाने के लिए तेलंगाना सरकार ने बिना निवदा निकाले दो कंपनियों को 270 करोड़ रुपए का आर्डर दिया। इन कंपनियों में एक के मालिक श्री नायडू के बेटे हैं और दूसरी कंपनी के मालिक राज्य के मुख्यमंत्री के बेटे हैं। कांग्रेस नेता ने कहा कि भोपाल में उच्चतम न्यायालय के आदेश पर छह अप्रैल 2011 को कुशाभाऊ ठाकरे स्मारक ट्रस्ट को दी गयी 20 एकड़ जमीन का आवंटन रद्द किया गया था। यह जमीन भोपाल के अहम इलाके में थी और इसकी कीमत करीब छह सौ करोड़ रुपए थी। श्री नायडू इस ट्रस्ट के अध्यक्ष थे।

उधर,  सरकार ने पूर्व केन्द्रीय मंत्री एवं राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के उपराष्ट्रपति पद के उम्मीदवार एम वेंकैया नायडू पर कांग्रेस द्वारा भ्रष्टाचार के आरोपों को निराधार और तथ्यहीन करार दिया है। संसदीय कार्यमंत्री अनंत कुमार ने संसद भवन परिसर में संवाददाताओं के सवालों के जवाब में कहा कि ये आरोप निराधार और तथ्यहीन हैं, जिनमें कोई दम नहीं है।

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