27 हजार उर्दू-फारसी शिक्षकों सहित कुल 3 लाख की होगी नियुक्ति

बिहार सरकार ने एक बड़ी घोषणा की है। 27 हजार उर्दू-फारसी शिक्षकों सहित कुल 3 लाख शिक्षकों की नियुक्ति होगी। शिक्षा का स्तर उन्नत करने का बताया संकल्प।

दो दिन पहले 25 फरवरी, 2023 को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पूर्णिया में महागठबंधन की महारैली में एलान किया था कि बहुत जल्द बड़े पैमाने पर शिक्षकों की नियुक्ति होगी तथा शिक्षकों का वेतन भी बढ़ाया जाएगा। उस एलान के दो दिन बाद ही सोमवार को जदयू ने बड़ा एलान कर दिया। पार्टी ने कहा कि राज्य में तीन लाख शिक्षकों की नियुक्ति की जाएगी। इनमें 27 हजार उर्दू-फारसी और अरबी के शिक्षक होंगे।

बिहार जदयू से मिली जानकारी के अनुसार नीतीश सरकार ने राज्य में तीन लाख स्कूली शिक्षकों की नियुक्ति करने का फैसला किया है। यह नियुक्ति कक्षा एक से कक्षा 12 तक के क्लासों के लिए होंगी। सबसे अधिक नियुक्ति वर्ग 9 से 12 तक लिए होगी। इस श्रेणी में कुल एक लाख 22 हजार शिक्षकों की नियुक्ति होगी। इसके बाद एक से वर्ग आठ तक की कक्षाओं के लिए 80 हजार से ज्यादा शिक्षकों की नियुक्ति होगी। और एक अन्य महत्वपूर्ण जानकारी यह है कि राज्य के स्कूलों में उर्दू-फारसी और अरबी भाषाओं के 26500 शिक्षकों की भर्ती होगी।

राज्य सरकार ने स्कूली शिक्षा की गणवत्ता बढ़ाने के लिए कंप्यूटर शिक्षा पर जोर दिया है। जो तीन लाख बहालियां होने वाली हैं, उनमें बड़ी संख्या कंप्यूटर शिक्षकों, प्रयोगशाला सहायकों तथा विशेष शिक्षकों के पद पर होंगी। सरकार की कोशिश है कि सरकारी स्कूलों में बच्चों को कंप्यूटर शिक्षा से जोड़ा जाए, ताकि वे आगे जाकर रोजगार के लिए ज्यादा तैयार हो सकें।

जदयू ने इसे सरकार का बड़ा फैसला बताते हुए सराहना की है। पूर्णिया की महारैली में उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने कहा था कि उन्होंने पिछले चुनाव में 10 लाख नौकरियां देने का वादा किया था, उसे मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी समर्थन दिया है और सरकार तेजी से उस संकल्प को पूरा करने की दिशा में काम कर रही है। मालूम हो कि नीतीश कुमार भी बिहार में 10 लाख नौकरी देने की घोषणा कर चुकें हैं।

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