भारतीय जनता पार्टी के निलंबित सांसद कीर्ति आजाद ने दरभंगा एयरपोर्ट परिसर से व्यावसायिक उड़ानों के संचालन के लिए सिविल एन्क्लेव बनाने की प्रक्रिया का श्रेय लेने का आरोप बिहार के मुख्‍यमंत्री नीतीश कुमार और उपमुख्‍यमंत्री सुशील कुमार मोदी पर लगाया। आजाद ने कहा कि इन दोनों की दोस्‍ती दूसरे की योजनाओं का श्रेय लेने के लिए है, जबकि दरभंगा से हवाई सेवा शुरू करवाने की मंशा बिहार सरकार की कभी नहीं रही है।

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नौकरशाही डेस्क

उन्‍होंने कहा कि दरभंगा में आयोजित कार्यक्रम में मेरी उपेक्षा की गई और स्‍थानीय मिथिला वासियों को अपमानित किया गया। उन्‍होंने बताया कि वे खरमास बाद 17 – 18 जनवरी को अपनी आगे की रणनीति के बारे में घोषणा करेंगे। आज राजधानी पटना के होटल पाटलिपुत्र अशोक में आयोजित संवाददाता सम्‍मेलन के दौरान कीर्ति आजाद ने कहा कि प्रदेश में विकास के नाम पर झांसा दिया जा रहा है, यही वजह है कि राज्‍य सरकार ने 30 एकड़ जमीन अधिग्रहण मामले को लटका कर रख दिया है। फिर भी हमारी कोशिश के बाद केंद्र सरकार ने रक्षा मंत्रालय के स्‍वामित्‍व वाली जमीन पर कार्य आरंभ किया है।

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हवाई सेवा के लिए की बहुत मेहनत 

उन्‍होंने दरभंगा से हवाई सेवा शुरू करने की मांग को लेकर प्रधानमंत्री मोदी लिखी चिट्ठी और एक तस्‍वीर शेयर करते हुए कहा कि 8 दिसंबर 2015 को मेरी अगुवाई में उत्‍तर बिहार के सभी सांसदों ने दरभंगा से हवाई सेवा शुरू करने की मांग को लेकर प्रधानमंत्री से मिला और ज्ञापन सौंपा था। उसी का नतीजा है कि दरभंगा से हवाई सेवा आरंभ करने के लिए नागर विमानन मंत्रालय द्वारा कार्यवाही आरंभ हुई। हमने इसके लिए बहुत मेहनत की।

मिथिला के प्रति सरकार का रवैया नकारात्मक

कीर्ति आजाद ने बिहार सरकार पर उत्तर बिहार और मिथिला के प्रति राज्‍य सरकार के रवैये को नकारात्‍मक बताया। आजाद ने कहा कि महज तीन एकड़ जमीन अधिग्रहण नहीं होने से रेल मंत्रालय से दरभंगा शहर के स्‍वीकृत पांच ओवर ब्रिज पिछले पांच सालों में नहीं बन पाये हैं। इस वजह से गंभीर जाम की स्थिति बनती है और हजारों लोगों को प्रतिदिन इससे जूझना पड़ता है। आजाद ने नीतीश सरकार पर भी जमकर हमला बोला और मुजफ्फरपुर बालिका गृह मामले में गंभीर आरोप लगाये।

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बालिका गृह मामले को सरकारी स्तर पर हुआ रफादफा करने का प्रयास 

उन्‍होंने कहा कि नीतीश कुमार के शासन काल में भ्रष्‍टाचार और अपराधियों का बोलबाला बढ़ गया है। अफशरशाही, भ्रष्‍टाचार और अपराध इस सरकार के अंत के लिए आधार बन चुकी है। उन्‍होंने चर्चित बालिक गृह मामले में कहा कि मुजफ्फरपुर बालिका गृहकांड को सरकारी स्‍तर पर रफादफा करने का प्रयास किया जा रहा था, लेकिन सुप्रीम कोर्ट के हस्‍तक्षेप के बाद इसकी जांच की गति बढ़ी है। उन्‍होंने राज्‍य सरकार के प्रदेश के किसानों के दो लाख तक के अविलंब कर्ज माफी की भी मांग की।

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