शाह के वफादार अफसरों को ममता ने मिनटों में किया चलता

चुनाव आयोग ने ममता के खास अफसरों को चुन-चुनकर हटाया था। ऐसे अफसर नियुक्त किए गए, जो अमित शाह के वफादार थे। ममता ने मिनटों में दिखाया बाहर का रास्ता।

प. बंगाल विधानसभा चुनाव में केंद्रीय एजेंसियों की भूमिका पर बहुत कुछ लिखा जा चुका है। चुनाव आयोग ने आठ चरणों में चुनाव कराया। इस पर ममता की आपत्ति खारिज कर दी। चुन-चुनकर ममता के खास अधिकारियों को पद से हटाया गया और उनकी जगह गृहमंत्री अमित शाह के वफादार अधिकारियों की नियुक्ति की गई।

ममता बनर्जी ने मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने के कुछ ही देर बाद ब्यूरोक्रेसी में भारी बदलाव किया। चुनाव आयोग ने ममता के जिन-जिन अफसरों को पद से हटाया था, ममता ने मुख्यमंत्री पद की शपथ लेते ही उन्हें फिर से पुराने पद पर नियुक्त कर दिया।

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ममता बनर्जी ने वरिष्ठ आईपीएस वीरेंद्र को फिर से डीजीपी और जावेद शमीम को एडीजी (लॉ एंड ऑर्डर) पदों पर नियुक्त कर दिया। वीरेंद्र को चुनाव आयोग ने बिजली कंपनी का सलाहकार बना दिया था। शमीम को डीसी (फायर) बना दिया गया था।

ममता ने पदभार मिलने के बाद अपने पहले प्रेस कॉन्फ्रेंस में इसकी घोषणा की। आईपीएस अधिकारी विवेक सहाय का सस्पेंशन समाप्त करते हुए उन्हें डायरेक्टर ऑफ सेक्युरिटी बनाया गया। नंदीग्राम में ममता के घायल होने के बाद चुनाव आयोग ने सहाय को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया था। ज्ञानवंत सिंह जो डायरेक्टर ऑफ सिक्योरिटी थे, उन्हें एडिशनल डायरेक्टर ऑफ सिक्यूरिटी बनाया गया।

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अब संजय सिंह पश्चिमी जोन के नए एडीसी होंगे। मनोज कुमार वर्मा को फिर से उनकी पुरानी जगह बराकपोर का सीपी बनाया गया है। सीआईडी में डीआईसी अजय कुमार ठाकुर आसनसोल के सीपी होंगे। अर्णब घोष चंदननगर के नए सीपी होंगे। यहां के वर्तमान सीपी गौरव शर्मा को उनकी पुरानी जगह सिलीगुड़ी भेजा गया है। जिलों में कुल 14 नए एसपी नियुक्त किए गए हैं। इनमें से कई एसपी को चुनाव आयोग ने वेटिंग में डाल दिया था।

मितेश जैन , सीपी, आसनसोल और बारासात के डीआईसी मुकेश को मेटिंग में रखा गया है।

By Editor