प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र में स्थित बनारस हिंदू विश्‍वविद्यालय कैंपस में लड़कियों की सुरक्षा को लेकर मचा बवाल शांत होने का नाम नहीं ले रहा है. कल देर रात पुलिस द्वारा लाठी चार्ज के बाद कैंपस का माहौल और गरमा गया है. छात्राओं ने लाठी चार्ज की निंदा करते हुए पूछा है कि नवरात्रि में देवियों की पूजा होती है. लड़कियों पर डंडे बरसा कर कौन और किस मुंह से पूजा कर रहे हैं. वहीं, दूसरी ओर इस मामले में उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्‍यनाथ ने इस पूरे घटना क्रम के लिए रिपोर्ट मांगी है. तो उत्तर प्रदेश के पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने ट्वीट कर कहा कि बल से नहीं बातचीत से हल निकाले सरकार. बीएचयू में छात्रों पर लाठीचार्ज निंदनीय. दोषियों पर हो कार्रवाई.

नौकरशाही डेस्‍क

बता दें कि लाठीचार्ज के विरोध में बीएचयू के छात्रों ने एक शांति मार्च निकालने की कोशिश की, जिसे पुलिसकर्मियों ने जबरन रोक दिया. इसके पहले बीएचयू में शनिवार देर रात पुलिस ने प्रदर्शनकारी छात्र-छात्राओं पर जमकर लाठीचार्ज किया, जिसमें कुछ स्टूडेंट्स घायल भी हुए हैं. उल्‍लेखनीय है कि बीएचयू की गर्ल्स स्टूडेंट्स शुक्रवार सुबह से ही बीएचयू में पढ़ने वाली ये लड़कियां कैंपस में हो रही छेड़छाड़ की वारदातों के खिलाफ दो दिनों से धरने पर बैठी थीं.

दरअसल, गुरुवार की रात बीएचयू कैंपस में भारत कला भवन के पास ऑर्ट्स फैकेल्टी की एक गर्ल स्टूडेंट के साथ तीन लड़कों ने छेड़खानी की थी. शोर मचाने पर भी 20 मीटर दूर खड़े सिक्युरिटी गार्ड्स ने कोई मदद नहीं की थी. विक्टिम ने हॉस्टल में आकर वार्डेन से शिकायत की. मगर कोई एक्शन नहीं लिया गया. लड़कियों का आरोप है कि शिकायत करने पर यूनवर्सिटी एडमिनिस्ट्रेशन ने कहा, “पीएम का दौरा है. अभी आप लोग शांत रहिए. उधर प्रोटेस्ट कर रही बीएफए स्टूडेंट आकांक्षा सिंह ने विरोध के दौरान सिर के बाल मुंडवा लिए थे. उसका कहना था कि छेड़खानी होती रहे और हर वक्त हम खामोश रहें, ऐसा नहीं हो सकता है.

 

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