मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अग्निशमन सेवा के कार्यकलापों एवं प्राप्त उपलब्धियों की गहन समीक्षा की। वर्ष 2011 से वर्ष 2014 के बीच राज्य में हुये अग्निकाण्डों की जिलावार जानकारी ली तथा इन अग्निकाण्डों में पीड़ितों के जान-माल बचाने तथा जानवरों की सुरक्षा के लिये अग्निशमन दस्ते द्वारा प्राप्त की गयी उपलब्धियों की भी विस्तृत जानकारी ली।
अग्निशमन सेवा की उपलब्धियों की समीक्षा
मुख्यमंत्री ने निर्देश दिया कि अग्निशमन की घटित घटनाओं की सूचना सर्वप्रथम देने के लिये एक केन्द्रीकृत कॉल सेन्टर की स्थापना की जाय, जिसके द्वारा अग्निशमन केन्द्र के साथ-साथ स्थानीय प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र और संबंधित पुलिस थाना को अग्निकाण्ड की अविलम्ब सूचना प्राप्त हो और अग्निशमन दल घटनास्थल पर पहुंचें। साथ ही पुलिस एवं चिकित्सा दल एम्बुलेंस सहित घटनास्थल पर पहुंच जायें ताकि अग्निकाण्डों से अधिक से अधिक लोगों के जान-माल की रक्षा हो सके। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिया कि राज्य के प्रत्येक थानों में आधुनिक मिस्ट टेक्नोलॉजी पर आधारित फायर टेंडर खरीद कर उपलब्ध कराने के कार्य में तेजी लायी जाय।
महासमादेष्टा अग्निशमन पीएन राय ने मुख्यमंत्री को बताया कि अब तक इस प्रकार के 155 मिस्ट टेक्नोलाजी पर आधारित अग्निशमन वाहन विभिन्न थानों में उपलब्ध कराये जा चुके हैं। प्रधान सचिव आपदा प्रबंधन विभाग श्री ब्यासजी को निर्देश दिया गया कि आपदा प्रबंधन, अग्निशमन संगठन आपस में ताल-मेल स्थापित करें और अग्निकाण्ड से निपटने की व्यवस्था की जाय। बैठक में मुख्य सचिव अंजनी कुमार सिंह, विकास आयुक्त एसके नेगी, प्रधान सचिव गृह आमिर सुबहानी, पुलिस महानिदेशक पीके ठाकुर, अध्यक्ष बिहार राज्य पुलिस भवन निर्माण निगम अभय कुमार उपाध्याय, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव डीएस गंगवार, प्रधान सचिव स्वास्थ्य ब्रजेश मेहरोत्रा, मुख्यमंत्री के सचिव चंचल कुमार, अतीश चन्द्रा एवं राज्य अग्निशमन पदाधिकारी सहित अग्निशमन सेवा के अन्य वरीय अधिकारियों ने भाग लिया।