मानसिक और शारीरिक रूप से चैलेंज्ड बच्चों की शिक्षा एक गंभीर चुनौती रही है लेकिन पटना के एसोसिएशन ऑफ प्रोमोशन फॉर क्रियेटिव लर्निंग(एपीसीएल) ने इस दिशा में महत्वपूर्ण काम किया है.
शनिवार को पटना के दानापुर के निकट नरगदा में एपीसीएल द्वारा आयोजित गोस्ठी में क्रियेटिव लर्निंग से जुड़े विशेषज्ञों ने मानसिक और शारीरिक रूप से चैलेंज्ड बच्चों में शिक्षा की चनौतियों पर गंभीर चर्चा की. इस अवसर पर प्रो. सैलेश्वर सती सिंह ने कहा कि सरकार के स्तर पर मानसिक रूप से अविकसित बच्चों के लिए हालांकि शिक्षा के क्षेत्र में प्रयास हुए हैं लेकिन इसमें बहुत प्रगति नहीं हुई है. उन्होंने कहा कि आज ट्रेंड टीचरों की भारी कमी है जिसके कारण बच्चों को उचित शिक्षा नहीं मिल पाती. उन्होंने कहा कि एपीसीएल ने ऐसे बच्चों की मानसिक और शारीरिक जरूरतों को ध्यान में रखते हुए न सिर्फ कोर्स विकसित किया है बल्कि उनके लिए तकनीकी सुविधावों का भी विकास किया है.
इस अवसर पर एपीसीएल द्वारा संचालित स्कूल ऑफ क्रियेटिव लर्निंग की प्रिंस्पल डा. मृदुला प्रकाश ने एपीसीएल द्वारा विकसित लैब और तकनीकि सुविधाओं की चर्चा करते हुए एक बच्चे के बारे में बताया. उन्होंने कहा कि वह पढ़ाई के दबाव से तंग आ कर आत्महत्या तक करने का प्रयास कर चुका था. लेकिन उसके पोटेंशियल को पहचान हम लोगों ने की. वह काफी तेज था. हमने उसे पढ़ने के प्रति प्रेरित किया जिसका नतीजा यह निकला कि आज वह इंजिनियर बन चुका है. उन्होंने कहा कि हर बच्चे में अलग अलग तरह की पोटेंशियल इनर्जी होती है जरूरत है कि हम उसे पहचाने और उसे उस दिशा में आगे बढ़ने के लिए प्रेरित करें.
इस अवसर पर विजय प्रकाश ने अपने विचार रखते हुए कहा कि इंक्लुसिव ग्रोथ के लिए इंक्लुसिव एजुकेशन जरूरी है. उन्होंने कहा कि इंक्लुसिव एजुकेशन के लिए बच्चों के माइंड और बॉडी का अध्ययन किया जाना चाहिए और एपीसीएल ने इस दिशा में काफी रिसर्च किया है जिसके आधार पर एपीसीएल बच्चों को शिक्षा दे रहा है. उन्होंने कहा कि चूंकि हर बच्चा अपने अंदर अद्भुत योग्यता रखता रखता है इसलिए हमें उनकी योग्यता को ध्यान रख कर ही एजुकेशन देना चाहिए. अगर हम बच्चों की योग्यता को नहीं पहचान सके तो उन्हें उनकी जरूरतों के हिसाब से शिक्षा भी नहीं दे सकेंगे.
गोस्ठी में मेडिकल और तकनीकी क्षेत्र के अनेक विशेषज्ञों ने भी अपनी राय रखी.
समारोह से पूर्व क्रियेटिव लर्निंग के केजी सेंटर का उद्घाटन किया गया.