इमारत शरिया बिहार, झारखंड और उड़ीसा के आमिर-इ-शरियत हजरत मौलाना सयेद निजामुद्दीन साहिब दुनिया से अलविदा कह गयें. पिछले कुछ दिनों से वे बीमार चल रहे थे.
फिरोज अख्तर
इनकी मौत की खबर सुनते ही लोगों का हुजूम फुलवारीशरीफ इमारत शरिया के साथ आमीर-ए-शरियत हजरत मौलाना निजामुद्दीन साहिब के घर पर पहुचने लगी है.
वही कल जोहर बाद (दोपहर) इन्हें सुपुर्दे खाक किया सकता है. इधर इनकी मौत की खबर सुनते ही इमारत शरिया के नाजिम मौलाना अनीसुर रहमान, बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, राज़द सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव, पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी, राजद के प्रदेश महासचिव सलाउद्दीन मंसूरी, फुलवारीशरीफ नगर परिषद के तमाम वार्ड पार्षद व बिहार, झारखंड और उड़ीसा के भी लोगों ने शोक जताया.
मौला निजामुद्दीन बिहार के विख्यात आलिमदीन थे. वह आल इंडिया पर्सनल लॉ बोर्ड के महासचिव भी थे.
88 वर्षीय मौला निजामुद्दीन पिछले कई हफ्ते से बीमार थे और उनका इलाज चल रहा था. उनका जन्म 1927 में हुआ था और वह 1999 में इमारत शरिया के अमीर चुने गये थे.
इमारत शरिया बिहार झारखंड, उडिसा में मुसलमानों में शिक्षा, सामाजिक सौहार्द्र और भाईचारे पर काम करने वाली विख्यात संस्था है. वह इस संस्था के अमीर यानी प्रमुख थे.
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