टिकट बंटवारे में बिहार में मुसलमानों को नजरअंदाज करके उनके घोर विरोध से घबराई कांग्रेस ने अंतिम क्षण में नालांदा सीट पर मुस्लिम कंडिडेट देने का मन बना लिया है.यहां से डा.शकील अहमद लड़ सकते हैं.
इससे पहले कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और बिहार कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष को टिकट नहीं दिया गया था जिसके कारण वह पार्टी छोड़ कर लोजपा से चुनाव लड़ने का फैसला कर चुके हैं.
कांग्रेस के अंदरूनी सूत्रों ने नौकरशाही डाट इन को बताया है कि बिहार में 12 में से मात्र एक टिकट मुस्लिम कंडिडेट को देने पर मुसलमानों में घोर निराशा थी इसकी भनक दिल्ली में हाई कमान को लगी और उसने आनन फानन में कांग्रेस महासचिव शकील अहमद को चुनाव मैदान में झोंकने का मन बना लिया है. इसकी विधिवत घोषणा कभी भी की जा सकती है.
मालूम हो कि कांग्रेस आरजेडी समझौते के तहत बिहार की चालीस सीटों में से कांग्रेस को 12 सीटों पर चुनाव लड़ना है मगर इसने मात्र एक मुस्लिम कंडिडेट के नाम की घोषणा की थी. जबकि आरजेडी ने 27 में से 6 मुस्लिम उम्मीदवार उतारने का ऐलान कर दिया है. वहीं दूसरी तरफ कांग्रेस ने 12 में 1 यानी बमुश्किल 9 प्रतिशत मुसलमान उम्मीदवार उतार रही थी. जबकि आरजेडी ने करीब 20 प्रतिशत सीट मुसलमानों को दे दी है.
मालूम हो कि बिहार में मुसलमानों की आबाद 18 प्रतिशत के करीब मानी जाती है. हालांकि इन सबके बावजूद पसमांदा मुसलमानों की अब भी नाराजगी है क्योंकि राजद ने 6 में से मात्र एक पसमांदा मुस्लिम को टिकट दिया है.
पसमांदा मुसलमानों को आपत्ति है कि मुस्लिम आबादी का 85 प्रतिशत पसमांदा मुसलमान हैं जबिक टिकट देने में आरजेडी ने उनकी अनदेखी की है. राजद नेता गुलाम गौस ने राजद से इसी कारण नाराजगी जता कर जद यू का दामन थामने को मजबूर हो गये हैं.