बिहार में अपराध की बढ़ती घटनाओं के विरोध में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) के आज प्रतिरोध मार्च के दौरान पुलिस ने वाटर केनिंग का प्रयोग किया और इसके बाद कई बड़े नेताओं को हिरासत में ले लिया । भारतीय जनता पार्टी के पटना के कुम्हरार के विधायक अरुण कुमार सिन्हा , हिन्दुस्तानी आवाम मोर्चा (हम) के अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी , लोक जनशक्ति पार्टी (लोजपा) के सांसद रामचंद्र पासवान ,राष्ट्रीय लोक समता पार्टी (आरएलएसपी) के विधायक सुधांशु शेखर के नेतृत्व में बड़ी संख्या में कार्यकर्ताओं ने गांधी मैदान से आक्रोश मार्च निकाला ।
मार्च के शुरु होते ही जे.पी. गोलम्बर के निकट पहले से मुस्तैद पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को रोकने का प्रयास किया । पुलिस के बल प्रयोग करते ही प्रदर्शनकारी उग्र हो गये, जिसके बाद पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच धक्का मुक्की हुयी । प्रदर्शनकारियों को नियंत्रित करने के लिए पुलिस ने वाटर केनिंग किया । वाटर केनिंग के वाबजूद प्रदर्शनकारी नहीं माने और बैरिकेटिंग को तोड़कर आगे बढ़ गये ।
राजग के नेता जब राजधानी के अतिव्यस्त डाक बंगला चौराहा पहुंचे तभी पुलिस और नेताओं के बीच एक बार फिर से धक्का मुक्की हुयी राजग के नेता बिहार में कानून-व्यवस्था की खराब स्थिति के मुद्दों को लेकर राज्यपाल को ज्ञापन सौंपने जा रहे थें । इस मौके पर भाजपा के वरिष्ठ नेता राम नरेश चौरसिया ने कहा कि प्रदेश में महागठबंधन की सरकार बनने के बाद हत्या , बलात्कार और अपहरण की घटनाएं तेजी से बढ़ी है । श्री चौरसिया ने आरोप लगाया कि महागठबंधन की सरकार में अपराधियों को संरक्षण मिल रहा है और इसी का नतीजा है कि अपराधी बेखौफ होकर घटनाओं को अंजाम दे रहे हैं । सरकार का अपराधियों पर नियंत्रण समाप्त हो गया है ।