भाजपा विधानमंडल के नेता सुशील कुमार मोदी। आमतौर पर मंगलवार को उनका जनता दरबार सजता है। लेकिन पिछले एक माह से जनता दरबार का आयोजन नहीं किया था। परिवर्तन यात्रा की व्यस्तता के कारण। कल मंगलवार को काफी दिनों बाद जनता दरबार वाली जगह भीड़ जुटी थी। लेकिन इस बार जनता नहीं, जनता के प्रतिनिधि बनने के लिए लालायित लोग यानी टिकट के दावेदार थे। सौ से ज्यादा लोग दरबार में मौजूद थे। कुछ दावेदार, कुछ समर्थक, कुछ पैरवीकार।
वीरेंद्र यादव
मंगलवार की सुबह से चर्चा थी कि सुशील मोदी 12 बजे तक सरकारी आवास एक पोलोरोड में आएंगे। इस कारण 11 बजे से दावेदार जुटने लगे थे। कुछ लोग वेटिंग रूम में इंतजार कर रहे थे, कुछ लोग पेड़ों की छाया में। करीब 1 बजे सुशील मोदी पहुंचे। दावेदारों की भीड़ उनकी गाड़ी के पीछे दौड़ी। वे गाड़ी से उतरे और सबको हॉल में पहुंचने को कहा, जहां जनता दरबार लगता है। भीड़ के साथ हम भी दरबार में पहुंच गए। कुछ तस्वीर ली। फिर वहां से निकल लिया। सोचा, सुमो से मुलाकात कर ली जाए और रास्ता नापे। हम उनके कमरे तक गए। कार्ड भेजा। उन्होंने हॉल में ही पहुंचने की सूचना भिजवायी।
बायोडाटा बता रहे दावेदार की हैसियत
हम दुबारा हॉल में पहुंचे। दावेदारों की भीड़ बढ़ रही थी। मोदी के पहुंचने की सूचना के फैलने के बाद दावेदारों के आने का क्रम में तेज हो गया था। हम भी एक कुर्सी पर जम गए। किस्म-किस्म के दावेदार। खाय-पीए अघाय से लेकर फटेहाल तक। किस्म-किस्म के बायोडाटा। कुछ बायोडाटा सामान्य ब्लैक एंड ह्वाइट कागज पर निकालाया गया था। जबकि अधिकांश रंगीन बायोडाटा थे। बायोडाटा की शुरुआत में विधान सभा क्षेत्र की संख्या और नाम। इसके बाद अपने-अपने ढंग के बायोडाटा। बायोडाटा के कवर पर दावेदार की तस्वीर भी दिख रही थी। कुछ बायोडाटा अलग किस्म के थे। एक बायोडाटा पूरी तरह महंगे कागज वाले किताब के तरह था, फोटो निकालने वाली सीट पर निकाला गया था। एक बायोडाटा तो पूरी किताब ही था। अखबार की कटिंग से लेकर कार्यक्रमों की छपी तस्वीर तक।
हाथोंहाथ लिया बायोडाटा
करीब एक घंटे इंतजार के बाद हालॅ में मोदी पहुंचे। हॉल अचानक हरकत में आ गया । संशय से सने चेहरे अचानक खिल गए। बारी-बारी से मोदी दावेदारों के पास पहुंच रहे थे। बायोडाटा लेने के साथ ही मोदी दावेदारों के दावे भी सुन रहे थे। सबके मैदान जीत लेने का दावा। दावेदार राज्य के विभिन्न हिस्सों से आए थे। एक ही सीट के कई-कई दावेदार भी थे। करीब 15 मिनट में बायोडाटा समेटने का सिलसिला खत्म हो गया। मोदी हॉल से बाहर निकले। उनके पीछे-पीछे दावेदारों की कतार। पोर्टिको तक पहुंचने के बाद कुछ देर लोगों की बात सुनने के लिए ठहरे। हम उनकी गाड़ी से पहले मुख्य दरवाजे की बढ़ चले। कई गाडि़यां आसपास में लगी थी। पीछे से एक गाड़ी आने आवाज सुनायी दी। हमने पीछे मुड़ना चाहा तब तक गाड़ी बगल से निकल रही थी। उस गाड़ी में हमने सुशील मोदी को बायोडाटा अपने किसी सहायक के थमाते देखा, तब तक गाड़ी निकल गयी। गाड़ी के पीछे दावेदार भी आ रहे थे। सबके चेहरे पर खुशी थी कि उनका बायोडाटा मोदी जी ने अपने हाथों से लिया। फिर सभी अपने-अपने दावे को एक-दूसरे से शेयर करते हुए बाहर निकल रहे थे।