जमुई में नरेंद्र सिंह के राजनीतिक वर्चस्व को चुनौती देने में जद यू ने एक बड़ा गेमप्लान तैयार किया है. इसके लिए पार्टी ने दामोदर रावत को आगे कर दिया है.
जमुई से मुकेश कुमार सिंह की रिपोर्ट
गौरतलब है कि जमुई में नरेंद्र सिंह कई वर्षों से प्रभावशाली रहे हैं लेकिन जद यू से अलग हो कर पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी के संग हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा यानी हम का दामन थामने के बाद जद यू के लिए वह चुनौती बन कर उभरे हैं. नरेंद्र सिंह का जमुई में खासा राजनीतिक प्रभाव रहा है और फिलहाल उनके दो बेटो समेत तीन असेम्बली सीटों पर कब्जा है.
लेकिन इस चुनौती से निपटने के लिए जद यू ने सूबे के भवन निर्माण मंत्री दामोदर रावत को तैयार करना शुरू कर दिया है. जमुई के विकास दोहरी जिम्मेदारी आ गयी है.क्योंकि बदले राजनीतिक माहौल में नई सरकार में जमुई का प्रभाव कम होने के हालात दृष्टिगोचर होने लगे हैं. प्रारंभ से मंत्री दामोदर रावत की राजनीतिक गतिविधि झाझा तक ही थी.लेकिन नीतीश सरकार के मंत्रिमंडल में झाझा से विधायक दामोदर रावत के पुनः मंत्री बनने के बाद उन पर जिम्मेवारी बढ़ गई है।
2010 में जमुई से तीन मंत्री
वर्ष 2010 में नीतीश की सरकार में जमुई के नरेंद्र सिंह, दामोदर रावत व रामेश्वर पासवान मंत्री थे.बाद में सिकंदरा(सुरक्षित) विधानसभा क्षेत्र के विधायक रामेश्वर पासवान को समाज कल्याण मंत्री के पद से इस्तीफा देना पड़ा.इसके बावजूद जमुई से दो मंत्री काबिज थे. स्वाभाविक तौर पर जवाबदेही बंटी हुई थी.परंतु नरेंद्र सिंह के मांझी के साथ चले जाने के बाद जमुई से महज दामोदर रावत को ही मंत्रिमंडल में शामिल किया गया.इसलिये अब मंत्री दामोदर रावत पर दोहरी जिम्मेवारी हो गई है.
वर्ष 2010 में जब नीतीश कुमार एनडीए गठबंधन के साथ जनता का मत लेकर आए थे तब राजद बिरोधी दल की भूमिका में था।परंतु नीतीश के भाजपा से अलग होने के बाद अब जदयू का सहयोगी दल राजद है। फिलवक्त राजनीतिक समीकरण उसी पार्टी से बन गया है।नरेंद्र सिंह के रहते मंत्री दामोदर रावत ने अपनी राजनीतिक गतिबिधि को झाझा बिधानसभा क्षेत्र तक ही सिमटाकर रखा था परंतु अब नरेंद्र सिंह के मंत्री पद से हटते ही रावत ने नयी रणनीति के तहत राजनीति शुरू कर दी है.
सूत्र बताते हैं कि उन्हें जमुई में नरेंद्र सिंह से लम्बी लकीर खीचने के लिए तैयार किया जा रहा है. दूसरी तरफ मंत्रिमंडल में शामिल होने के बाद मंत्री दामोदर रावत ने कहा है की जमुई में सुशासन स्थापित कर विकास को नई ऊँचाई तक पहुचाना मेरी प्राथमिकता होगी. पार्टी इसी लाइन पर रणनीति बनाने में जुटी है. आने वाले दिनों में जमुई में राजनीतिक वर्चस्व की लड़ाई तेज होने के आसार हैं.