सासाराम : रोहतास जिले के पहाड़ी क्षेत्र में आतंक का पर्याय बने टीपीसी (तृतीय प्रस्तुति कमिटी) नामक नक्सली संगठन के ठिकानों पर पिछले 24 घंटों के चले ऑपरेशन में पुलिस को अप्रत्याशित सफलता हाथ लगी है. छिपा कर रखे गए बड़ी मात्रा में उनके हथियार व गोला बारूद पुलिस के हाथ लगे है. मौके से तीन हार्डकोर सदस्यों को गिरफ्तार किया गया है. तमाम कार्रवाई यहां के एसपी मानवजीत सिंह ढिल्लों की रणनीत के तहत जिले में गठित पुलिस के विशेष कार्यबल ने किया.
नौकरशाही ब्यूरो,मुकेश कुमार
शुक्रवार को पुलिस का दावा कि इस कार्रवाई से अनिल कुशवाहा उर्फ़ सन्देश व अजय राजभर के नेतृत्व में हाल ही में संचालित टीपीसी नामक नक्सली संगठन को नेस्तनाबूत कर दिया गया है. इस कार्रवाई से बढे पुलिस के मनोबल को बनाये रखने के लिए यहां के डीआईजी मो. रहमान ने एटीएस में शामिल पुलिस कर्मियों को पुरस्कृत करने की घोषणा की है.
पुलिस के अनुसार दो दिन पूर्व गिरफ्तार किये गये टीपीसी कमांडर अनिल महतो से बरामद मोबाईल को पुलिस ने सर्विलांस में रखा था. उसके आधार पर ही पुलिस ने उक्त संगठन से जुड़े तमाम लोगों तक अपनी पहुंच बनायी. गुरुवार की देर शाम पुलिस के विशेष कार्यबल ने दरीगांव थाना क्षेत्र के रंगपुर गांव के विजय पासी को पकड़ा. उससे हुई पूछताछ में हथियार छिपाने के ठिकाने का खुलासा हुआ. विजय के घर से 200 मीटर की दूरी पर स्थित खेत के एक हिस्से की खुदाई करने पर वहाँ से पुलिस से लूटी गयी 2 रायफल समेत सात रायफलें बरामद हुई. उसके अलावे दो बैग में रखे रायफल की 300 जीवित गोलियों के अलावा ढेरों बन्दूक की गोलियां बरामद हुई. मौके से पुलिस की 8 वर्दियां, नक्सली साहित्य के पर्चे, रसीद, दो दर्जन डेटोनेटर व कई जिन्दा बम भी मिले है. जमीन में गाड़ कर रहे गए 12 मोबाईल भी बरामद हुए है, जिनमे जिले के कई सफेदपोश चेहरों के नंबर सेव है.
इस मामले में अब तक संगठन से जुड़े तीन हार्डकोर गिरफ्तार किये गए है जिनमे रंगपुर के ही विजय पासी व लालजीत पासी के अलावे रोहतास थाने के बुधुआ निवासी जगदीश यादव शामिल है. लालजीत व विजय आपस में चाचा-भतीजा है. पुलिस की माने तो तीन अन्य को भी हिरासत में लिया गया है जिनसे अभी पूछताछ चल रही है. गिरफ्तार लालजीत व विजय का वर्षो पुराना नक्सली इतिहास रहा है. सीमावर्ती यूपी के सोनभद्र जिले की विभिन्न नक्सली घटनाओं में वर्षो जेल में रहे है. पूर्व में गांव के ही एक संपन्न किसान की हत्या के मामले में इनकी आजीवन कारावास की सजा हुई है जो अभी हाई कोर्ट से जमानत पर छूट कर आये है. पुलिस के अनुसार इस संगठन ने महज 8 महीने की अपनी अपनी कारगुजारियों के दौरान पहाड़ी क्षेत्र के ठेकेदारों, ईट भट्ठा संचालकों और सम्पन्न किसानों व व्यवसायियों से लेवी के रूप में अकूत धन राशी की उगाही की है. हाल ही में दरीगांव थाने के गोरिया गांव के एक युवक की बेवजह हत्या कर पहाड़ी के खरवार समुदाय के निशाने पर आये इस संगठन पर चौतरफा दबाव था.
गिरफ्तार नक्सली अनिल के बैंक खाते में 35 लाख
दो दिन पूर्व पुलिस के हाथ लगे टीपीसी कमांडर अनिल महतो उर्फ़ सन्देश के यूपी के सोनभद्र के एक बैंक में 35 लाख रूपए जमा है. पुलिस सूत्रों ने बताया कि कैमूर जिले का स्थायी निवासी अनिल अपना परिवार सोनभद्र में ही रखता है. वही उसके खाते में पैसे जमा रखने की मिली जानकारी पर पुलिस उसे जब्त करने की कार्रवाई में जुटी है.
एटीएस की कमान “सिंघम” के हाथ
रोहतास जिले से दोबारा नक्सलियों के पैर उखाड़ने वाले पुलिस के विशेष कार्यबल का नेतृत्व पुलिस का एक अवर निरीक्षक करता है.उसके टीम में अ.नि. स्तर के आठ अधिकारी और कुछ चुनिंदे जवान है जो इन्टरनेट और स्मार्ट फ़ोन को उँगलियों पर नचाते रहते है.इस टीम को अनुसंधान के क्रम में जिले या राज्य से बाहर भी जाना पड़े तो उनके लिए तकनिकी अड़चने बाधक नहीं बनती.हालांकि टीम लीडर व सदस्यों की पहचान सार्वजनिक नहीं किया जाता है.