बिहार में नीतीश कुमार के नेतृत्व में अगली सरकार गठबंधन की होगी। राज्यपाल ने नीतीश कुमार को 22 फरवरी (रविवार) को सरकार बनाने के लिए आमंत्रित किया है। उसी दिन सीएम इन वेटिंग नीतीश कुमार अपने कम से कम 15 सहयोगियों के साथ शपथ लेंगे। इस सरकार में जदयू के साथ राजद व कांग्रेस भी शामिल होगी।
बिहार ब्यूरो
प्राप्त जानकारी के अनुसार, राज्यपाल केसरीनाथ त्रिपाठी से मुलाकात करने के पहले नीतीश कुमार ने फोन पर लालू यादव से बातचीत की और सरकार के स्वरूप पर चर्चा की। पहले नीतीश कुमार ने राजद को सरकार में शामिल होने का आग्रह लालू यादव से किया। इसके बाद लालू ने अपनी सहमति दे दी। सूत्रों के अनुसार, सरकार में शामिल होने के लिए कांग्रेस भी इच्छुक है। अभी केंद्रीय नेतृत्व की हरी झंडी का इंतजार किया जा रहा है।
रमई, बीमा व रंजू की हो सकती है छुट्टी
बताया जा रहा है कि नीतीश कुमार बजट सत्र तक सीमित मंत्रियों से भरोसे काम चलाना चाहते हैं और मंत्रिमंडल का विस्तार बजट सत्र के बाद करेंगे। इसका उद्देश्य विधायकों के असंतोष को दबाए रखना है। यह भी माना जा रहा है कि जदयू के कम से कम छह पूर्व मंत्रियों को नीतीश मौका देने के पक्ष में नहीं हैं, उनमें रमई राम, बीमा भारती, रंजू गीता शामिल हैं। जिनको नये लोगों को नीतीश मौका दे सकते हैं, उनमें रामवचन राय, विजय कुमार मिश्र प्रमुख बताए जा रहे हैं। राज्यपाल से मुलाकात के पहले और बाद में भी नीतीश कुमार ने मंत्रियों के नामों व विभागों को लेकर पार्टी अध्यक्ष श्रद यादव व विजय कुमार चौधरी जैसे वरिष्ठ नेताओं से विमर्श किया। राजद खेमे से अब्दुलबारी सिद्दीकी को उपमुख्यमंत्री बनाए जाने की चर्चा है, हालांकि लालू यादव की पुत्री मीसा भारती के नाम पर राजद विचार कर रहा है। लेकिन अंतिम निर्णय लालू यादव पर छोड़ दिया गया है। लालू की लिस्ट मिलने के बाद ही नीतीश राजद मंत्रियों के विभागों पर फैसला लेंगे।