नरेंद्र मोदी का पिल्ले वाला बयान बिहार में कानूनी पेंच में फंसता जा रहा है.मोदी के खिलाफ इस बयान को लेकर राजद्रोह का मामला दर्ज किया गया है.
पटना के मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी रामाकांत यादव की अदालत में आज यह मामला भारतीय दंड विधान की विभिन्न धाराओं के तहत पटना विश्वविद्यालय के सांख्यिकी विभाग के शिक्षक विनय कुमार सिंह ने याचिका दाखिल किया है.
अदालत ने इस मामले को प्रथम श्रेणी की न्यायिक दंडाधिकारी की अदालत को सौंपा गया है.
विनय कुमार द्वारा दाखिल की गई शिकायत में अल्पसंख्यकों की तुलना कुत्ते के बच्चे या पिल्ले से करने, कांग्रेस को गैर संप्रदायिकता का बुर्का पहनने तथा सरदार पटेल के नाम पर लोहे का औजार मांगने के मोदी के बयान को राजद्रोह तथा दो संप्रदायों के बीच तनाव फैलाने वाला बताया गया है.
मालूम हो कि कुछ दिन पहले मोदी ने समाचार एजेंसी रॉयटर को दिये इंटर्व्यू में गुजरात दंगों पर पूछे गये सवाल के जवाब में कहा था कि अगर में गाड़ी चला रहा हूं या गाड़ी की पिछली सीट पर बैठा हूं और अगर एक पिल्ला भी मेरी गाड़ी के नीचे आ जाये तो दुख तो होगा ही.
मोदी ने इस साक्षात्कार में कहा था कि उन्होंने ने 2002 के दोंगों में जो भी कदम उठाया उसके लिए उन्हें कोई खेद नहीं है.