नीतीश कुमार शराब के बाद अब दूसरे नशा पर भी चोट करने की योजना बना रहे हैं. पटना में मद्य निषेध दिवस के अवसर पर बोलते हुए उन्होंने कहा कि शराबबंदी के बाद अब अन्य नशा पर भी चोट करने की जरूरत है.
हालांकि सीएम नीतीश कुमार ने उन नशीले पदार्शाथों का नाम नहीं लिया जिन पर चोट करने की उनकी योजना है. शायद उनका इशारा चरस-कुकीन जैसे नशा की तरफ रहा हो. सीएम ने कहा कि बिहार में अब मद्य निषेध दिवस मनाने के बजाये नशा मुक्ति दिवस मनाने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि बिहार में शराब बंदी लागू है और मजबूती से लागू है. उन्होंने कहा कि जिन्हें शराब पीना है वे बिहार से बाहर जा सकते हैं. मुख्यमंत्री ने इस बात पर चिंता जताई की कुछ लोग अब भी नेपाल और पड़ोसी राज्यों से शराब ला रहे हैं. इसके लिए उन्होंने उन लोगों को जिम्मेदार ठहराया जो पहले शराब के कारोबार में थे.
नीतीश कुमार ने इस अवसर पर केंद्र की भ्रष्टाचार की पालिसी पर सवाल खड़ा क रते हुए कहा कि जब तक देश को शराब मुक्त नहीं किया जाता तब तक भ्रष्टाचार से मुक्ति नहीं पायी जा सकती.