मुख्यमंत्री ने सभी राज्यों से अपील की है कि शराबबंदी की पहल करें .
सीएम ने कहा यह भ्रम है कि शराबबंदी से घटेगा राजस्व, शराबबंदी व नोटबंदी के बावजूद 2016-17 में सरकार को 2015-16 के लगभग हुई आमदनी पटना
सचमुच केंद्र सरकार अगर बापू के चंपारण सत्याग्रह शताब्दी समारोह पर प्रतिबद्ध हैं तो पूरे देश में शराबबंदी लागू करे. अगर शराबबंदी राज्यों को लागू करना है तो भाजपा शासित वाले राज्य इसे लागू करें. बिहार ने तो इसे लागू कर दिया है और गुजरात में तो पहले से शराबबंदी है तो महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, झारखंड में भी इसे लागू करें. सिर्फ बिहार में बाहर से शराब ठेलने से काम नहीं चलेगा. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने राजधानी में आयोजित एक कार्यक्रम में कहा कि लोग शराबबंदी इसलिए नहीं करते कि अच्छी आमदनी हो रही है और सरकार को इससे घाटा होना बताते हैं. जो लोग सरकार का नुकसान बताते हैं वे भूल जाते हैं कि लोगों का कितना नुकसान हो रहा है. मुख्यमंत्री नीतीश ने कहा कि शराबबंदी से राजस्व नहीं घटेगा. अगर कोई सोचते हैं कि इससे सरकार का राजस्व घटेगा तो यह भ्रम है. 2015-16 में बिहार को 5000 करोड़ की आमदनी हुई थी. 2016-17 में शराब बंद कर दी गयी और नोटबंदी का भी असर हुआ, जिससे जमीन के रजिस्ट्रेशन में दिक्कते हुई, बावजूद इसके 2016-17 की टैक्स वसूली 2015-16 के लगभग बराबर है.