मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपनी नयी पारी में चार आइएएस अधिकारियों को कंधों पर भरोसा जताया है और उन्हें बड़ी जिम्मेवारी भी सौंपी है। सीएम ने अपनी नयी कैबिनेट की पहली बैठक के एक दिन पूर्व यानी 24 फरवरी को 26 आइएएस अधिकारियों का एक साथ ट्रांसफर किया था। इस ट्रांसफर से प्रशासनिक ढांचा पूरी तरह बदल गया था। इस ट्रांसफर में जीतनराम मांझी के विश्वस्त लोगों को किनारे लगाने का प्रयास किया था, जबकि मांझी ने नीतीश के विश्वस्त लोगों को 6 जनवरी के स्थानांतरण पर हासिए पर धकेल दिया था।
वीरेंद्र यादव
इस ट्रांसफर से चार अधिकारी ‘पावर प्ले’ में नीतीश के विश्वस्त सारथी बने, जिनके कंधों पर सुशासन की बड़ी जिम्मेवारी सौंपी गयी। इसमें सबसे महत्वपूर्ण पावर सेंटर बनकर उभरे अमीर सुबहानी। उन्हें सामान्य प्रशासन विभाग से हटाकर गृहविभाग के प्रधान सचिव की जिम्मेवारी फिर दे दी गयी। उनकी शक्ति में इजाफा करते हुए उन्हें सामान्य प्रशासन विभाग का भी अतिरिक्त प्रभार दे दिया गया। मांझी ने इनका पर कतरते हुए गृह विभाग से हटाकर सामान्य प्रशासन में भेज दिया था।
डीएस गंगवार
सामान्य प्रशासन विभाग के प्रधान सचिव धर्मेंद्र सिंह गंगवार को मांझी ने योजना और विकास विभाग में भेज दिया था। नीतीश ने गंगवार पर भरोसा जताया और उन्हें मुख्यमंत्री का प्रधान सचिव की जिम्मेवारी सौंपी। इससे वह प्रशासनिक और राजनीतिक मामलों की नयी ताकत बनकर उभरे। माना जा रहा है कि उनसे भी आरसीपी सिंह जैसी भूमिका की अपेक्षा की जा रही है।
अरुण कुमार सिंह
अरुण कुमार सिंह को नीतीश कुमार ने फिर से पथ निर्माण विभाग का प्रधान सचिव की जिम्मेवारी सौंपी। मांझी सरकार के पतन में अरुण कुमार सिंह के स्थानांतरण को भी बड़ा मुद्दा माना जा रहा था। इसे नीतीश कुमार ने अपनी प्रतिष्ठा का सवाल बना लिया था। यही वजह थी कि सत्ता में आते ही उन्होंने पुराने विभाग में वापस लाया।
चंचल कुमार
नीतीश कुमार के विश्वस्त रहे चंचल कुमार को भी मांझी ने भवन निर्माण से ग्रामीण कार्य विभाग में भेज दिया था। नीतीश ने इसे भी प्रतिष्ठा का प्रश्न बना लिया था। सत्ता में आते ही सीएम ने चंचल कुमार को फिर से मुख्यमंत्री का सचिव बनाया। वे पहले भी सीएम नीतीश कुमार के सचिव रह चुके थे।
नये सत्ता समीकरण में इन चारों अधिकारियों पर राजनीतिक, सामाजिक, संगठनात्क कार्यों के अतिरिक्त पार्टी के आर्थिक हितों की भी जिम्मेवारी मानी जा रही है। चुनाव वर्ष में इनकी कई अन्य जिम्मेवारियां भी होंगी। इन जिम्मेवारियों को बेहतर निर्वाह की उम्मीद भी सीएम कर सकते हैं।