पूर्व उप मुख्यमंत्री और भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता सुशील मोदी ने मोतिहारी दुष्कर्म मामले की निष्पक्ष जांच के लिए समिति गठित करने और दोषियों को सजा दिलाने के लिए स्पीडी ट्रायल कराने की मांग की । श्री मोदी ने पटना में कहा कि घटना के नौ दिनों के बाद पीड़ित लड़की की मेडिकल जांच करायी गयी है, जिसके कारण बलात्कार की पुष्टि होना कठिन है । ऐसी स्थिति में परिस्थितिजन्य साक्ष्य के आधार पर मामले की त्वरित सुनवाई कराकर दोषियों को सजा दिलायी जानी चाहिए ।
भाजपा नेता ने आरोप लगाया कि स्थानीय पुलिस इस मामले की लीपापोती करने में लगी है , इसलिए इस मामले की राज्य के किसी सम्मानित डाक्टर , समाजसेवी या सेवा निवृत पुलिस अधिकारी की अध्यक्षता में जांच समिति बनाकर जांच करायी जानी चाहिए । उन्होंने कहा कि इसके साथ ही दोषियों पर पास्को एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज होना चाहिए ।इस मामले में अबतक पीड़ित लड़की का पांच बार मेडिकल जांच कराया गया है।
श्री मोदी ने बताया कि 10 जून को लड़की के साथ पहली बार बलात्कार हुआ और उसके बाद 13 जून को अपराधियों ने दोबारा लड़की के घर में घुसकर उसके साथ सामूहिक बलात्कार किया । इस घटना के दो दिन के बाद जब लड़की की स्थिति बेहद खराब हो गयी तब रामगढ़वा प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में उसकी मेडिकल जांच करायी गयी । उन्होंने कहा कि 25 जून को जब राष्ट्रीय महिला आयोग की टीम जांच करने पहुंची तब सदर अस्पताल मोतिहारी के उपाधीक्षक डा. मनोज कुमार और नर्स कामिनी कुमारी ने लड़की के साथ बलात्कार की पुष्टि की ।