मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने केंद्र की नरेन्द्र मोदी सरकार के आंध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा दिये जाने की मांग ठुकराने पर तेलुगू देशम् पार्टी का राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन से नाता तोड़ने के बाद प्रदेश के लिए ऐसी ही मांग दुहराते हुये आज कहा कि इस मुद्दे पर वह शुरू से ही गंभीर रहे हैं।

श्री कुमार ने संवाददाताओं से बातचीत में कहा कि आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री और तेदेपा के अध्यक्ष चंद्रबाबू नायडू ने अपने राज्य के लिए विशेष दर्जे की मांग की थी। उन्होंने कहा कि किसी भी राजनेता को केंद्र से ऐसी मांग करने का अधिकार है। लेकिन, मुझ पर बिहार को विशेष राज्य का दर्जा दिये जाने की मांग को लेकर चुप्पी साधने का लगाया जा रहा आरोप निराधार है। मुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्र में जब संयुक्त प्रतिशील गठबंधन (संप्रग) की सरकार थी, तब से हमलोग बिहार को विशेष राज्य का दर्जा दिये जाने की मांग करते रहे हैं और तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को इस आशय का ज्ञापन भी सौंप चुके हैं। इसके बाद बिहार के पिछड़े होने का अध्ययन करने के लिए रघुराम राजन कमेटी का गठन भी किया गया था। कमेटी में शामिल राज्य के प्रतिनिधियों ने इस मुद्दे पर अलग-अलग राय दी है।

श्री कुमार ने कहा कि इसमें कोई शक नहीं कि बिहार देश के पिछड़े राज्यों में से एक है। इसलिए केंद्र सरकार को बिहार के लोगों का जीवन स्तर सुधारने एवं विकास की गति को और तेज करने के लिए इसे विशेष राज्य का दर्जा जरूर देना चाहिए। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार की ओर से बिहार को विशेष राज्य का दर्जा दिये जाने की मांग को लेकर केंद्र सरकार पर दबाव बनाने में कोई ढील नहीं बरती गई है।

By Editor


Notice: ob_end_flush(): Failed to send buffer of zlib output compression (0) in /home/naukarshahi/public_html/wp-includes/functions.php on line 5427