सीबीआई निदेशक रंजीत सिन्हा कई दिनों से पटना में डटे थे. पर इस बार उनका पटना आगमन किसी जांच की गुत्थियों को सुलझाने के लिए नहीं बल्कि बेटी रुद्रानी की शादी के लिए था.
पर शादी के इस कार्यक्रम में सीबीआई जांच से घिरे लालू प्रसाद की गैरमौदूगी भी चर्चा का विषय रही. चारा घोटाले पर सीबीआई जांच पर जल्द ही फैसला होने वाला है. इसलिए लालू प्रसदा को रंजीत सिन्हा ने दावत नहीं दी थी. जबकि रंजीत सिन्हा लालू प्रसदा के काफी करीबी माने जाते हैं.
रुद्रानी की शादी शनिवार को एक हजार से अधिका मेहमानों की मौजूदगी में समस्तीपुर के रहने वाले और छत्तीसगढ कैडर के 2009 बैच के आईएएस अविनाश कुमार शरण से हुई. शरण बिलासपुर में म्युनिसिपल कमिशनर हैं. जबकि रुद्रानी एक कम्पनी में एनालिस्ट के पद पर कार्यरत हैं.
रणजीत सिन्हा को परिवार कई पीढियों से नौकरशाही से जुड़ा रहा है. जबकि उनके कई राजनेताओं से भी अच्छे संबंध रहे हैं. इसके बावजूद इस शादी में बिहार की दो बड़ी हस्तियां शामिल नहीं हो सकीं.
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार चाह कर भी इस आयोजन में इसलिए नहीं जा सके क्योंकि उनके पैर की उंगली तूट गयी थी. इसी तरह रंजीत सिन्हा और लालू प्रसाद की नजदीकियों के किस्से काफी चर्चित रहे हैं फिर भी लालू इस समारोह में नहीं थे.19 जुलाई को दिल्ली में रिसेपशन का आयोजन है.