फर्जी मतदाता सूची बना कर भाजपा की मदद करने के खिलाफ तथा साफ-सुथरी मतदाता सूची की मांग पर विपक्ष के सासंदों ने प्रदर्शन किया है। संसद भवन से वे चुनाव आयोग कार्यालय तक जाना चाहते थे, लेकिन पुलिस ने उन्हें रोक कर हिरासत में ले लिया। एक साथ 300 से ज्यादा सांसदों को हिरासत लेने की यह पहली घटना है। सांसद वोट चोर गद्दी छोड़ का नारा लगा रहे थे।
विरोध मार्च कर रहे सांसदों को संसद परिसर से बार निकलने से रोकने के लिए दिल्ली पुलिस ने बेरिकेड लगा रखा था। सपा प्रमुख अखिलेश यादव बेरिकेड पर चढ़ कर दूसरी तरफ कूद गए। उनके ऐसा करने के बाद सपा के दूसरे सांसद भी बेरिकेड से छलांग लगा कर अखिलेश यादव के साथ धरने पर बैठ गए। फिर अन्य सांसद भी पहुंच गए। बाद में दिल्ली पुलिस, जो मोदी सरकार के अधीन है, ने सभी सांसदों को हिरासत में ले लिया।
सांसद वोट चोर गद्दी छोड़ का नारा लगे रहे थे। इस नारे से स्पष्ट है कि अब एसआईआर के नाम पर लाखों मकदाताओं को वोट के अधिकार से वंचित करने, कर्नाटक के एक विधानसभा क्षेत्र में एक लाख से ज्यादा फर्जी वोटर बना कर भाजपा को जितवाने के खिलाफ शुरू हुआ आंदोलन अब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ मुड़ गया है। वोट चोर, गद्दी छोड़ साफ-साफ प्रधानमंत्री मोदी पर निशाना है।
यहां एक बात ध्यान रखने की है कि आज पूरा विपक्ष एकजुट हो गया। इससे पहले राहुल गांधी के आवास पर सभी दलों के प्रमुख सांसद मिले थे। आज शाम फिर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के आवास पर सभी सांसद मिलेंगे और वोट चोरी के खिलाफ आंदोलन को तेज करने की रणनीति पर विचार करेंगे।
इधर भाजपा के केई नेताओं ने कहा कि विपक्ष चुनाव हार रहा है, इसीलिए वे मतदाता सूची पर सवाल उठा रहे हैं। भाजपा नेता राहुल गांधी को देश विरेधी बताने में लगे हैं।