भगत सिंह पर किताब लिखनेवाले ने पीएम का फोटो हटाने क्यों कहा
अगर आपने भगत सिंह पर किताबें पढ़ी हैं, तो चमनलाल को जरूर जानते होंगे। भगत सिंह पर उनकी किताब प्रामाणिक मानी जाती है। उन्होंने कहा, पहले पीएम का फोटो हटाओ।
शहीद-ए-आजम भगत सिंह पर अनेक किताबें लिखी गई हैं, पर सबसे ज्यादा चमन लाल की पुस्तकें पढ़ी गईं और पढ़ी जाती हैं। उनका जन्म 1947 में हुआ। वे 74 वर्ष के हैं। जब उन्हें कोरोना वैक्सीन लेने के लिए कहा गया, तो उन्होंने कहा कि वे वैक्सीन लेने को तैयार हैं, पर पहले वैकेसीन के सर्टिफिकेट से प्रधानमंत्री मोदी की तस्वीर हटाओ।
जनसत्ता के पूर्व संपादक ओम थानवी ने एक अंग्रेजी अखबार में छरी खबर ट्विटर पर शेयर की है। खबर भटिंडा डेटलाइन से है। अवकाशप्राप्त प्राध्यापक और भगत सिंह पर किताब लिखनेवाले लेखक चमन लाल ने कोरोना वैक्सीन के सर्टिफिकेट से प्रधानमंत्री मोदी की तस्वीर हटाने की मांग की है। उन्होंने कहा कि उन्होंने निर्णय लिया है कि जबतक कोरोना सर्टिफिकेट से प्रधानमंत्री मोदी की तस्वीर नहीं हटाई जाती, वे वैक्सीन नहीं लेंगे।
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प्रो. चमन लाल ने कहा कि यह उनके गांधीवादी प्रतिरोध का तरीका है। उन्होंने इस संबंध में पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह को पत्र लिखा है। उन्होंने पंजाब के मुख्यमंत्री से कहा है कि कम से कम पंजाब में तो यह फोटो हटा दिया जाए।
प्रो. चमन लाल ने जेएनयू, पंजाब विवि और केंद्रीय विवि में शिक्षण का कार्य किया है। उन्होंने कहा कि वे वैक्सीन लेना चाहते हैं, लेकिन प्रधानमंत्री की तस्वीर क्यों?
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प्रो. चमन लाल की बातों को शेयर करते हुए ओम थानवी ने कहा- प्रोफेसर लाल जैसे बहुत से लोग होंगे, जो देश के ‘सिस्टम’ की इतनी जानलेवा कोताही के बाद कोई थोपी गई तस्वीर के साथ टीके के कागजात नहीं चाहते। हर नागरिक की जान बेशकीमती है। फोटो की जिद छोड़ी जा सकती है। या क्यों न सरकार यह मांग माने कि मृत्यु में भी ठीक ठीक इस क्सिम का प्रमाणीकरण हो।