पासवान की मौत पर नहीं जला चूल्हा, Chirag यहीं लेंगे आशीर्वाद
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रामविलास पासवान के निधन की खबर से वैशाली की अनेक दलित बस्तियों में चूल्हा नहीं जला था। इन्हीं में एक सुल्तानपुर से Chirag Paswn यात्रा शुरू करेंगे।
लोजपा प्रमुख Chirag Paswan सोमवार को हाजीपुर के पासवान चौक के निकट सुल्तानपुर गांव से अपनी राज्यव्यापी आशीर्वाद यात्रा शुरू करेंगे।
रविवार से ही लोजपा समर्थक पटना पहुंचने लगे हैं। कल सुबह 11 बजे चिराग का काफिला सुल्तानपुर के लिए रवाना होगा।
सुल्तानपुर दलित बहुल गांव हैं। यहां पहुंचने के बाद चिराग पासवान अपने पिता स्व. रामविलास पासवान के चित्र पर माल्यार्पण करेंगे और गांव के लोगों से सबसे पहले आशीर्वाद लेंगे। इसके साथ ही उनकी आशीर्वाद यात्रा की शुरुआत होगी।
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यहां वे कार्यकर्ताओं को संबोधित भी करेंगे। लोजपा प्रवक्ता अमर आजाद ने बताया कि वे गांव के गरीबों में कपड़े व अन्य सामग्री का वितरण भी करेंगे। आसपास के गांवों रामपुर नौसहां, मोहब्बतपुर,जेठुई निजामत, इमादपुर सुल्तान सहित अन्य गांवों में चिराग की यात्रा को लेकर उत्साह है।
जयंती की तैयारी
रविवार को लोजपा कार्यकर्ताओं में खासी गहमागहमी है। हर जिले से कार्यकर्ता कल हाजीपुर पहुंचेंगे। आज शाम को स्व. रामविलास पासवान की जयंती की पूर्व संध्या पर भी जगह-जगह कार्यक्रम हो रहे हैं।
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लोजपा प्रवक्ता अमर आजाद ने गांधी मौदान के निकट अंटा घाट स्थित झोपड़पट्टी के बच्चों में किताब, कॉपी व पढ़ने-लिखने की समाग्री का वितरण किया। ऐसा ही कार्यक्रम अनेक जिलों में किया गया। पार्टी ने स्व रामविलास पासवान को याद करने के लिए पूरे बिहार में दलित बस्तियों पर जोर दिया है।
इस तरह चिराग पासवान की कोशिश है कि सबसे पहले अपने ठोस जनाधार से संवाद किया जाए। चिराग पासवान की यात्रा की शुरुआत हाजीपुर से करके पार्टी एक साथ दो संदेश देना चाहती है। हाजीपुर स्व. रामविलास पासवान की कर्मभूमि रही है।
पहला संदेश तो यही है कि चिराग अपने पिता की कर्मभूमि को नहीं भूल सकते। दूसरा संदेश अपने चाचा को देंगे। यहां से फिलहाल चिराग के चाचा सांसद हैं। चाचा को यह संदेश देंगे कि आपकी जमीन नहीं है। यह उनकी जमीन है।
चिराग उन सभी संसदीय क्षेत्रों में जाएंगे जहां के लोजपा सांसदों ने उनका साथ छोड़कर भाजपा-जदयू से हाथ मिलाया है।