जदयू के पूर्व सांसद अली अनवर कांग्रेस में शामिल हो गए। तीन दिन पहले दिल्ली स्थित कांग्रेस मुख्यालय में उन्हें पार्टी प्रवक्ता पवन खेड़ा और अन्य वरिष्ठ नेताओं ने कांग्रेस में शामिल कराया।
पूर्व सांसद अली अनवर ने कहा कि वे राहुल गांधी के विचारों से प्रभावित हैं। उन्होंने राहुल गांधी तथा कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे से मुलाकात की थी। जब कांग्रेस ने संविधान रक्षा सम्मेलन की श्रृंखला शुरू की, तब वह निकटता और भी बढ़ी। इसके आयोजक अनिल जयहिंद ने रांची में संविधान रक्षा सम्मेलन में आमंत्रित किया। वहां भी राहुल जी से बातें हुईं। इसके बाद हमलोगों ने पटना में संविधान सम्मान और रक्षा सम्मेलन किया, जिसमें हजारों की संख्या में लोग शामिल हुए। यहां भी राहुल जी से बातें हुईं।
अली अनवर ने कहा कि पटना सम्मेलन के बाद सियासी दलों खासकर भाजपा और जदयू में खलबली मच गई। इन दोनों दलों के पसमांदा नेताओं को खेज-खोज कर मीडिंय की जा रही है। पटना सम्मेलन का दलितों, पिछड़ों, अतिपिछड़ों, अल्पसंख्यकों, पसमांदा मुस्लिमों पर गहरा प्रभाव पड़ा। वंचित समाज राहुल जी और कांग्रेस के प्रयासों से उत्साहित है।
पूर्व सांसद ने कहा कि उन्होंने 1998 में पसमांदा मुस्लिम महाज की स्थापन की। पसमांदा का अर्थ होता है जो पीछे छूट गए. वंचित समाज। पसमांदा उर्दू-फारसी का शब्द है। उन्होंने इस शब्द को इसलिए चलाया क्योंकि इसमें धर्म नहीं है। जो भी वंचित है, सबके लिए यह शब्द है। आज दुनिया भर में पसमांदा सियासत पर रिसर्च हो रहा है। आज धर्म और राजनीति का घालमेल किया जा रहा है, जो देश और दुनिया के लिए खतरनाक है। हमने कहा कि धर्म व्यक्तिगत मामला है उसे राजनीति के साथ मिलाया नहीं जाना चाहिए।
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उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी नकल करने में उस्ताद हैं। उन्होंने हमारे पसमांदा शब्द को चुराया। हमने लंबी चिट्ठी लिखी और कहा कि मोदी जी आपके घड़ियाली आंसू के जाल में पसमांदा समाज फंसने वाला नहीं है।