हाईकोर्ट ने सीएम नीतीश कुमार के चहेते नौकरशाह प्रत्यय अमृत को ऐसा पानी-पानी किया कि शायद ही वह जीवन भर इसे कभी भूल पायेंगे.
नौकरशाही न्यूज
राज्य सरकार के बढ़ चला बिहार अभियान पर गंभीर अदालत ने निर्दश देते हुए कहा कि इस अभियान में मुख्यमंत्री समेत किसी भी मंत्री का विजुअल नहीं दिखाया जाये.
अदालत ने यह निर्देश इसलिए दिया कि इस अभियान में सरकारी पैसा लग रहा है और सरकार पर आरोप लगाया गया था कि नीतीश सरकार इस बहाने अपना प्रचार कर रही है.
इसपर सूचना एंव जनसम्पर्क विभाग के प्रधान सचिव प्रत्य अमृत ने कहा कि हमारी ईमानदारी पर शक न करें. इतना ही नहीं अमृत ने यह भी कह डाला कि उनकी ईमानदारी पर प्रधानमंत्री ने भी उन्हें पुरस्कृत किया है. अमृत का इतना कहना था कि मुख्य न्यायाधीश ने कड़े लहजे में जम कर अमृत को फटकार लगाते हुए कहा कि अपनी ईमानदारी का सर्टिफिकेट न दीजिए.हमें आपकी ईमानदारी के बारे में जानने का कोई मतलब नहीं है. कोर्ट ने सख्त लहजे में कहा, ज्यादा ईमानदारी दिखाओगे तो आपके खिलाफ भी जांच का आदेश दिया जाएगा.
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नीतीश की नौकरशाही को करीब से जानने वालों को पता है कि प्रत्य अमृत नीतीश कुमार की जुबान की भूमिका निभाने वाले विभाग सूचना एंव जनसम्पर्क विभाग की कमान संभालने के लिए खास तौर पर चुना है. यह अभियान इसी विभाग ने एक निजी एजेंसी की मदद से शुरू किया था. प्रत्य अमृत वही आईएएस अफसर हैं जिनके लिए नीतीश कुमार ने पुल-पुलिये के निर्माण के लिए बिहार राज्य पुल निर्माण निगम लिमिटेड नामक एक कम्पनी बना कर उसकी कमान उन्हें सौंप दी थी. इस कम्पनी ने हजारों करोड़ का मुनाफा भी कमाया.
बढ़ चला बिहार राज्य सरकार की उपलब्धियों को बताने वाली योजना है. चार सौ छोटे ट्रक में आधुनिक सुविधाओं से लैश एलसीडी टीवी के जरिए राज्य सरकार की उपलब्धि बताने के लिए इसे प्रदेश के गांव-गांव तक पहुंचाने की योजना है.
फोटो प्रत्यय अमृत
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