बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष एवं राष्ट्रीय जनता दल के वरिष्ठ नेता तेजस्वी प्रसाद यादव ने पिछले महीने भारी बारिश से राजधानी पटना में हुये जलमाव के लिए अभियंताओं के खिलाफ जारी कारण बताओ नोटिस को लेकर नीतीश सरकार पर निशाना साधते हुये आज कहा कि सरकार ने अपने व्यापक कुप्रबंधन एवं भ्रष्टाचारजनित जलजमाव के लिए चंद अभियंताओं को ही यह नोटिस जारी किया है।
श्री यादव ने माइक्रो ब्लॉगिंग साइट ट्विटर पर ट्वीट कर कहा, “नीतीश जी ने अपने व्यापक कुप्रबंधन और भ्रष्टाचार जनित जलजमाव के लिए चंद इंजीनियरों को ‘शो कॉज’ किया है लेकिन जनता ने इन्हें जो शो कॉज किया है उसपर क्यों चुप्पी साधे हैं। आप जो 14 साल से सो रहे थे उस शो कॉज पर भी कुछ बोलें। नक्षत्र और प्रकृति को शो कॉज क्यों नहीं किया।
नेता प्रतिपक्ष ने सवालिया लहजे में कहा, “मुख्यमंत्री बतायें कि क्या ये इंजीनियर जलजमाव, नाला, सीवर, नमामि गंगे और ड्रेनेज संबंधित लिये गये निर्णय और नीति निर्माण प्रक्रिया का हिस्सा थे। विडंबना है सारी नीतियां आप और आपके बड़े भ्रष्ट अधिकारी बनाते हैं लेकिन भ्रष्टाचार की लीपापोती का कारण आप छोटे कर्मचारियों से पूछ रहे हैं।”
यादव ने एक अन्य ट्वीट में कहा, “जनता को हर वर्ष बड़ी-बड़ी मानव निर्मित और भ्रष्टाचार जनित आपदाओं और कुप्रबंधन के गटर में धकेलने वाले तथाकथित सुशासन बाबू की कहीं कोई जिम्मेदारी क्यों नहीं है। पलटीमार लोग चाहते हैं कि सत्ता इन्हें हर सुख, भोग-विलास दे, बस जिम्मेदारी ना दे।”
गौरतलब है कि बिहार सरकार ने पिछले दिनों भारी बारिश से राजधानी पटना में जलजमाव की भयावह स्थिति का कारण नाले की सही ढंग से सफाई न होना, सही समय पर ड्रेनेज पंपिंग सिस्टम का काम नहीं करना और कई पंपिंग सिस्टम का पानी में डूब जाना बताया और कहा था कि विकास आयुक्त की अध्यक्षता में एक कमेटी का गठन होगा, जो एक महीने के अंदर जलजमाव के कारण एवं कमियों की जांच तथा दोषी लोगों के संबंध में रिपोर्ट देगी।
साथ ही मुख्यमंत्री श्री कुमार ने कल जलजमाव से संबंधित बैठक में लिये निर्णयों की जानकारी देते हुये बताया था कि जलजमाव के कारण लोगों को काफी परेशानी हुयी है। नगर विकास एवं आवास विभाग ने इसके लिये कुछ दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई की है। इनमें बुडको के एक मुख्य अभियंता, दो सुप्रीटेंडिंग अभियंता, छह कार्यपालक अभियंता, एक कार्यपालक अभियंता (मैकेनिकल), एक सहायक अभियंता (मैकेनिकल) समेत कई अन्य अधिकारी एवं अभियंताओं के विरुद्ध कारण बताओ नोटिस जारी कर उनके वेतन भुगतान पर रोक लगाई गई है।