कानून वापस पर यूपी में BJP की वापसी नहीं, ये हैं 5 वजहें
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तीन कृषि कानून वापस कर लिये, लेकिन यूपी विधानसभा चुनाव में भाजपा की वापसी फिर भी कठिन है। ये हैं वे पांच बड़ी वजहें।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को आज किसानों के सामने झुकना पड़ा। हालांकि उन्होंने दिखाने की कोशिश की कि वे झुक नहीं रहे हैं। कृषि कानून वापस लेने का सबसे बड़ा कारण यूपी चुनाव माना जा रहा है। अब सबसे बड़ा सवाल है कि क्या यूपी में भाजपा और योगी की वापसी होगी? इसका जवाब है भाजपा की वापसी की राह अति कठिन है। ये हैं इसकी पांच वजहें-
पहला, भाजपा मान बैठी है कि पश्चिमी यूपी उसके हाथ से निकल चुका है। उसे पूर्वी यूपी पर बहुत भरोसा था कि पश्चिम का नुकसान पूरब से भर लेंगे। लेकिन दो दिन पहले सपा प्रमुख अखिलेश यादव की विजय रथ यात्रा में उमड़ी भीड़, रात भर चली यात्रा ने साबित कर दिया है कि पूर्वी यूपी भी पश्चिमी यूपी की तरह भाजपा के खिलाफ हो चुका है। देश में पहली बार अखिलेश यादव की सभा को सुनने रात 12 बजे, 2 बजे, तीन बजे सुबह तक लोग डटे रहे। अखिलेश की यात्रा गाजीपुर में 12 बजे दिन में शुरू हुई और सुबह साढ़े चार बजे तक चली।
दूसरी वजह यह है कि यूपी में लोगों की नाराजगी की वजह सिर्फ तीन कृषि कानून नहीं थे। नाराजगी कई स्तरों पर है। गरीब वर्ग महंगाई से परेशान है। रोजगार नहीं मिलने से युवा नाराज हैं। खाद नहीं मिलने, छुट्टा जानवरों से किसान परेशान हैं। कोई वर्ग संतुष्ट नहीं। सिर्फ मंदिर-मस्जिद, पाकिस्तान के नाम पर यूपी चुनाव जीतना कठिन है।
तीसरी वजह है, जातीय समीकरण भाजपा के खिलाफ होना। ब्राह्मण भाजपा से नाराज हैं। पिछड़े वर्ग में नाराजगी है और सपा ने छोटे दलों को जोड़ लिया है। राजभर जैसे नेताओं के कारण पिछड़ों की गोलबंदी सपा के पक्ष में दिख रही है।
चौथी वजह है कांग्रेस। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने महिलाओं का मुद्दा सामने रखकर, हर दमन के खिलाफ आवाज उठाकर कांग्रेस में नई जान फूंक दी है। कांग्रेस को जो भी नया वोट मिलेगा, वह भाजपा से कटकर आएगा। वैसे लोग जो भाजपा से नाराज हैं, लेकिन सपा को वोट नहीं कर सकते, वे कांग्रेस की तरफ जाएंगे।
और पांचवी वजह है भाजपा के भीतर की खींचतान। प्रधानमंत्री मोदी खुद गाड़ी में और योगी आदित्यनाथ पैदल पीछे-पीछे। यह वीडियो भर चुनाव भाजपा का पीछा नहीं छोड़ेगा।
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