सिर्फ दो दिनों में अपने भाषणों-बयानों से भाजपा को परेशानी में डालने वाले दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के दफ्तर दिल्ली पुलिस पहुंची। इस खबर के बाद हंगामा हो गया। दरअसल सोमवार की सुबह दिल्ली के एक थाने में एक फोन आया। फोन करने वाली महिला ने खुद को आप नेता तथा राज्यसभा सदस्य स्वाति मालीवाल बताया। फोन करने वाली ने कहा कि दिल्ली के मुख्यमंत्री केजरीवाल के दफ्तर में उनके साथ मारपीट की गई है। इसके बाद पुलिस हरकत में आ गई। स्वाति मालीवाल से भी दिल्ली पुलिस ने संपर्क किया। पुलिस के अनुसार उन्होंने कहा कि उनके साथ मुख्यमंत्री केजरीवाल के निजी सचिव ने मारपीट की है। हालांकि उन्होंने पुलिस में मामला दर्ज कराने से फिलहाल मना कर दिया। कहा कि वे बाद में शिकायत दर्ज कराएंगी। उन्होंने मेडिकल कराने से भी मना कर दिया। इसके बाद भाजपा आक्रामक हो गई। भाजपा के कई नेताओं ने केजरीवाल के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। भाजपा का कहना है कि जब सांसद ही सुरक्षित नहीं, तो दिल्ली की आम महिलाओं के बारे समझा जा सकता है।
इसी के साथ चर्चा तेज हो गई कि क्या केजरीवाल को फिर गिरफ्तार किया जाएगा। तिहाड़ जेल से निकलने के बाद केजरीवाल ने ऐसे सवाल खड़ा किए जिससे भाजपा के भीतर खलबली मच गई। उन्होंने कहा प्रधानमंत्री मोदी ने 75 साल के नेताओं को आराम करने की नीति बनाई थी। वे खुद भी सितंबर में 75 साल के होंगे, तो क्या वे पद छोड़ेंगे या यह नियम उनपर लागू नहीं होता। क्या प्रधानमंत्री मोदी ने आडवाणी को किनारे लगाने के लिए 75 पार के नेताओं को घर बैठाने की नीति बनाई थी। यही नहीं केजरीवाल ने कहा कि प्रधानमंत्री को अपना वारिस बताना चाहिए। इसके बाद चर्चा तेज हो गई कि अमित शाह खुद नंबर दो रहना चाहते हैं और उप्र के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को मुख्यमंत्री पद से हटा दिया जाएगा।
केजरीवाल ने सोमवार को कहा कि मुझे अपने INDIA गठबंधन के साथी दलों और साथियों से बुलावा आ रहा है कि आप यहां भी आकर प्रचार कीजिए। मैं अगले 21 दिनों में जहां-जहां संभव होगा, वहां जाऊंगा और BJP को हराने के लिए प्रचार करूंगा। आप लोग अब जमकर मेहनत कीजिए। मुझे 2 जून को वापस जेल जाना होगा लेकिन अगर आप लोग 4 जून को INDIA की सरकार बनवाएंगे तो मैं 5 जून को ही बाहर आ जाऊंगा।