राजद प्रमुख लालू प्रसाद आज चिराग पासवान के चाचा पशुपति पारस के घर दही-चूड़ा खाने पहुंचे, तो राज्य की सियासत गरमा गई। दोनों नेताओं के बीच देर तक राजनीतिक स्थिति पर चर्चा हुई। बाद में पत्रकारों के सामने राजद प्रमुख ने बड़ा खुलासा किया। कहा कि पारस को इंडिया गठबंधन में शामिल किया जाएगा। इसका अर्थ साफ है कि पारस के नेतृत्व वाली लोजपा गठबंधन के साथ मिल कर आगामी बिहार विधानसभा चुनाव लड़ेगी। बातचीत में पारस खेमे के कई प्रमुख नेता शामिल थे। राजद की तरफ से तेज प्रताप यादव भी देखे गए।
पिछले लोकसभा चुनाव में पारस एनडीए के साथ थे। हालांकि उन्हें एक भी सीट नहीं दी गई थी। लेकिन प्रधानमंत्री मोदी और अमित शाह से मुलाकात के बाद वे मान गए थे। एनडीए के मंच पर भी दिखे, लेकिन चुनाव के बाद एनडीए ने अब उनके लिए कोई भविष्य नहीं बचा है। पटना में उनकापार्टी दफ्तर भी राज्य सरकार ने खाली करा कर चिराग पासवान वाले गुट को दे दिया।
पूर्व केंद्रीय मंत्री पशुपति पारस ने कल 14 जनवरी को राज्यपाल से मिल कर उन्हें अपने दही-चूड़ा भोज के लिए आमंत्रित किया था। उन्होंने नीतीश कुमार तथा लालू प्रसाद को भी आमंत्रित किया था। नीतीश कुमार तो नहीं पहुंचे, लेकिन राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद पारस के घर पहुंचे और इसी के साथ सियासत गरमा गई।
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बिहार में गठबंधन में पहले से पांच दल हैं। राजद के अलावा कांग्रेस, माले, सीपीआई तथा सीपीएम। अब पारस के शामिल होने से छह दल हो जाएंगे। वीआईपी प्रमुख मुकेश सहनी ने भी अभी तक राजद से नाता बनाए रखा है। अगर वे भी गठबंधन के साथ रहते हैं, तो दलों की संख्या सात हो जाएगी। इस प्रकार राजद को इन सभी दलों को सीटें देनी होंगी। सबको सम्मानजनक सीटें देना हालांकि चुनौतीभरा काम होगा, लेकिन लालू प्रसाद ने एनडीए में सेंध लगाने के लिए दांव चल दिया है।