मधुबनी के पीड़ित ने पूछा, सारे नेता आए, मोदी क्यों नहीं आए
प्रधानमंत्री ने परीक्षा पर चर्चा में कहा था कि कठिन प्रश्न को पहले हल करें। अब मधुबनी जनसंहार के पीड़ित ने भाजपा सांसद सुशील मोदी से कठिन सवाल पूछ दिया है।
कुमार अनिल
बिहार के अखबारों का भी अजीब हाल है। भाजपा अगर विपक्ष के नेता तेजस्वी यादव या राजद पर आरोप लगाए, तो वह प्रमुखता से छपता है, लेकिन राजद जवाब दे, तो उसे ब्लैक आउट कर दिया जाता है। कल भाजपा सांसद ने आरोप लगाया कि मझुबनी जनसंहार के पीछे राजद नेता राजेश यादव का हाथ है। यह खबर आज पटना के अखबारों में प्रमुखता से छपी है, लेकिन राजद ने जो जवाब दिया, उसे जगह नहीं मिल सकी।
राजद ने पिछले साल अक्टूबर में ही राजेश यादव को पार्टी से निकाल दिया था। राजद ने पार्टी से निकाले जाने का पत्र भी जारी किया।
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संभव है, राजद ने प्रेस को विज्ञप्ति न भेजी हो, तब भी पत्रकारिता की नैतिकता और पाठक के प्रति जिम्मेवारी है कि वह पूरी खबर देने के लिए राजद से भी पूछता कि आरोप पर उसका क्या कहना है।
इस बीच आज राजद ने एक वीडियो जारी किया है, जिसमेंं मधुबनी जनसंहार के पीड़ित मीडिया के सामने कह रहे हैं कि सारे दल के नेता उनके घर सांत्वना देने आए, पर भाजपा के कोई नेता और सुशील मोदी क्यों नहीं आए।
तीन दिन पहले ही प्रधानमंत्री ने परीक्षा पर चर्चा करते हुए कहा था कि सबसे पहले कठिन सवाल का जवाब दें। अबतक भाजपा सांसद ने पीड़ितों के प्रश्न का उत्तर नहीं दिया है।
मधुबनी कांड के पीड़ितों ने वीडियो में प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री और भाजपा नेताओं से न्याय मांगा है। पीड़ितों ने कहा कि तेजस्वी हमारे यहां सात अप्रैल को आए। उनसे पहले सुशील मोदी क्यों नहीं आए। उन्होंने सीधा आरोप लगाया कि सुशील मोदी ‘रचना रच’ रहे हैं। अब देखना है सुशील मोदी पीड़ितों के आरोप पर क्या कहते हैं।