गौर तलब है कि मोदी सरकार के गठन के बाद से उस पर आरोप लगते रहे है ंकि वह एनडीटीव के खिलाफ अभियान चलाती रही है. पिछले साल नवम्बर में केंद्र सरकार ने चैनल पर एक दिन के लिए बैन लगा दिया था. सरकार का आरोप था कि उसने पठानकोट आतंकी हमले के बाद गुप्त दस्तावेजों को दिखाया था. लेकिन सरकार के इस फैसले के खिलाफ जब एनडीटीवी अदालत में गयी और अदालत ने इस अपील को सुनने के लिए अधकिृत कर लिया तो उसके फौरन बाद सरकार ने बैन हटा लिया था.
सोमवार सुबह को एनडीटीवी के प्रमुख के घर सीबीआई की छापामारी का एनडीटीवी ने खुल कर विरोध किया है कहा है कि वह लोकतंत्र को कमजोर करने के प्रयासों के सामने नहीं झुकेगा.
जानकारी के अनुसार यह छापा उनके दिल्ली स्थित आवास पर पड़ा है। प्रणय रॉय पर फंड डायवर्जन का आरोप है। इस मामले में सीबीआइ ने केस दर्ज कर लिया है। इसके बाद चैनल ने एक बयान जारी करते हुए कहा है कि झूठे आरोप में रॉय को फंसाया जा रहा है। हम लोकतंत्र को इस तरह से कमजोर करने की कोशिशों के सामने घुटने नहीं टेकेंगे।
सीबीआइ ने बताया कि दिल्ली और देहहरादून में छापेमारी की है। प्रणय रॉय पर आईसीआईसीआई बैंक को 48 करोड़ का घाटा पहुंचाने का आरोप लगा है।
इस मामले पर भाजपा नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने कहा है कि कानून का डर हर किसी के अंदर होना चाहिए फिर वो चाहे कितनी बड़ी ही शख्सियत क्यों न हो।
सोमवार सुबह 8.00 बजे के करीब केंद्रीय जांच एजेंसी सीबीआई की टीम एनडीटीवी न्यूज चैनल के प्रमोटर प्रणय रॉय के ग्रेटर कैलाश-1 स्थित घर पर पहुंची और छापेमारी की। प्रणय रॉय पर फंड डायवर्जन और बैंक से फ्रॉड का आरोप है। सीबीआइ की टीम प्रणय रॉय और उनकी पत्नी राधिका रॉय से बैंक फ्रॉड के मामले में भी पूछताछ कर रही है।
इससे पहले प्रवर्तन निदेशालय ने फेमा प्रावधानों का उल्लंघन करने को लेकर एनडीटीवी के खिलाफ 2,030 करोड़ रुपये का नोटिस जारी किया था। ईडी का ये नोटिस प्रणय रॉय, राधिका रॉय और सीनियर एग्जीक्यूटिंव केवीएल नारायण राव के खिलाफ जारी किया गया था।