पहली बार रवीश कुमार ने मोदी और राहुल में की तुलना
रविश कुमार ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और राहुल गांधी में तुलना की। वीडियो वायरल। कहा, राहुल ने धर्म का शार्टकट, आसान रास्ता नहीं चुना। चुना कठिन रास्ता।
रविश कुमार का वीडियो वायरल है। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और राहुल गांधी की राजनीति की तुलना की है। कहा कि राहुल गांधी ने धर्म की राजनीति का आसान रास्ता नहीं चुना। वे साढ़े तीन हजार किमी लंबी भारत जोड़ो यात्रा कर रहे हैं। कोई अखबार उन्हें नहीं छाप रहा है। कोई टीवी चैनल उनकी यात्रा को नहीं दिखा रहा है। राजनीतिक पंडित यह भी कह रहे हैं कि इस लंबी पदयात्रा से कांग्रेस को कोई फायदा नहीं होगा। वे लगातार चुनाव हार रहे हैं आदि-आदि। अगर राहुल गांधी मांग कर दें कि स्कूल-कॉलेजों के पाठ्यपुस्तकों के कवर पेज पर सरस्वती का फोटो लगना चाहिए, तो जो अखबार भीतर के पन्नों पर भी जगह नहीं दे रहे, वे राहुल को पहले पन्ने पर छापेंगे। जो चैनल भारत जोड़ो यात्रा नहीं दिखा रहे, वे सारे दिन-रात राहुल के बयान पर चर्चा करेंगे। इतना सरल रास्ता होने के बावजूद राहुल गांधी इस रास्ते को नहीं चुन रहे हैं।
राहुल गांधी ने स्टंट करने और उल्लू बनाने की जगह मुश्किल रास्ता चुना है। pic.twitter.com/fmoTZwk342
— Krishna Kant (@kkjourno) October 28, 2022
प्रधानमंत्री मोदी और अरविंद केजरीवाल ने राजनीति को मैं-मैं में बदल दिया है। मैंने ये किया, मैंने वो किया से लेकर अपनी आलोचना पर खुद को पीड़ित बताने की होड़ लगी है। राहुल गांधी चाहते तो वे भी मैं-मैं की राजनीति कर सकते थे। वे भी खुद को पीड़ित बताते हुए जोर दे सकते थे कि उनके पिता को मारा गया, दादी को मारा गया, मां को गाली दी गई, पर वे महंगाई-बेरोजगारी पर बात कर रहे हैं। नफरत मिटा कर लोगों को जोड़ने की बात कर रहे हैं। देश की संपत्ति चंद हाथों में बेचने का विरोध कर रहे हैं, इस कारण उन्हें चंदा भी मिलना बंद हो गया है। सब जानते हैं कि कॉरपोरेट चंदे का 90 प्रतिशत हिस्सा एक ही दल को जाता है।
रवीश कुमार ने राहुल गांधी की इस बात के लिए भी सराहना की कि राहुल ने खुद पर इतने हमले के बावजूद कभी अपनी भाषा बिगड़ने नहीं दी। कभी किसी को व्यक्तिगत रुप से आहत करनेवाला बयान नहीं दिया। अपशब्द नहीं बोले। जबकि इस दौर में राजनीति में भाषा की मर्यादा खो गई है।
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