कांग्रेस नेता राहुल गांधी को मानहानि के एक मामले में बंध-पत्र (बॉन्ड पेपर) दाखिल करने का आदेश मिलने के बाद पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष मदन मोहन झा और धनंजय मधु ने उनकी जमानत ली।
सांसदों एवं विधायकों के मामले की सुनवाई के लिए गठित विशेष न्यायालय के न्यायाधीश कुमार गुंजन की अदालत में श्री गांधी के निजी मुचलके के साथ बंध-पत्र में प्रदेश अध्यक्ष श्री झा और धनंजय मधु ने जमानतदार के रूप में अपना नाम दिया और संपत्ति के कागजात दिए ।
श्री गांधी की जमानत के लिए पटना आगमन के मद्देनजर व्यवस्था के संचालन के लिए भारतीय राष्ट्रीय छात्र संघ के राष्ट्रीय महासचिव विरेंद्र सिंह राठौड़ सुबह दस बजे से ही न्यायालय परिसर में उपस्थित थे। श्री गांधी के आगमन से आधे घंटे पूर्व सेवा दल के सैकड़ो सदस्य भी अदालत परिसर में पहुंच गये थे। जमानत अर्जी की सुनवाई के दौरान न्यायालय कक्ष में सैकड़ों अधिवक्ताओं के साथ कांग्रेस विधि प्रकोष्ठ के प्रदेश अध्यक्ष आशुतोष पांडेय भी उपस्थित थे।
गौरतलब है कि 18 अप्रैल 2019 को पटना के मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी की अदातल में बिहार के उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने श्री गांधी के खिलाफ मानहानि का एक शिकायती मुकदमा दाखिल किया था। इस मुकदमे में श्री गांधी के चुनावी सभा के दौरान कर्नाटक के बेंगलुरु में दिये गये उस बयान को मानहानि वाला बताया गया है, जिसमें उन्होंने सवालिया लहजे में कहा था कि सभी मोदी उपनाम वाले चोर क्यों हैं। इसी मुकदमे की सुनवाई के सिलसिले में श्री गांधी आज पटना की विशेष अदालत में पेशी के लिए आये थे।
उधर, लोकसभा चुनाव में करारी हार के बाद पहली बार बिहार आए कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने आज कहा कि वह गरीब, मजदूर और किसानों के हित के लिए नए जोश के साथ आवाज उठाते रहेंगे। मानहानि के एक मामले में पटना के व्यवहार न्यायालय में पेशी के लिए आए श्री गांधी ने पत्रकारों से बातचीत में कहा, “जो भी राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की विचारधारा के खिलाफ आवाज उठाता है। उस पर हमले होते हैं और उसे न्यायालय में घसीटा जाता है। मैं किसानों और मजदूरों के साथ खड़े होने के लिए आया हूं। जहां भी जाना होगा जाऊंगा। मेरी लड़ाई संविधान को बचाने के लिए है। हिन्दुस्तान की आवाज को दबाया जा रहा है। मैं कांग्रेस अध्यक्ष नहीं हूं तो भी लड़ाई जारी रखूंगा।
कांग्रेस नेता ने पार्टी के अध्यक्ष पद से उनके इस्तीफे के संबंध में पूछे गए सवाल को टाल दिया और कहा कि कोई भी उनके ट्विटर अकाउंट पर इस बारे में विस्तार से पढ़कर जान सकता है। उन्होंने अपने ऊपर मानहानि के लगे आरोपों के संबंध में पूछे जाने पर कहा कि ये सारे आरोप गलत एवं निराधार हैं और इस बारे में उन्होंने अदालत को भी अवगत कराया है।