ढाई करोड़ से ज्यादा लोगों ने एस साथ पढ़ी संविधान की प्रस्तावना
कर्नाटक सरकार की पहल पर राज्य और राज्य बाहर ढाई करोड़ लोगों ने एक साथ संविधान की प्रस्तावना पढ़ी तथा संविधान की रक्षा का संकल्प लिया।
एक तरफ जहां देश में संविधान का बदल देने की पैरवी की जा रही है, वहीं कर्नाटक सरकार की पहल पर शुक्रवार को ढाई करोड़ से ज्यादा लोगों ने संविधान की प्रस्तावना का सामूहिक पाठ किया। यह अपने तरह का सबसे बड़ा आयोजन था। कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने बेंगलुरू में संविधान की प्रस्तावना का पाठ किया। उनके सामने हजारों की संख्या में लोगों ने प्रस्तावना का पाठ किया।
उन्होंने कहा कि हमारी सरकार ने पांच वादे किए थे, जिनमें चार वादे पूरे कर दिए। आज कुछ राजनीतिक शक्तियां हमारे देश के संविधान को खत्म करने की साजिश रच रही है। इस स्थिति में देश के हर नागरिक का कर्तव्य है कि वह संविधान की रक्षा करे। संविधान की प्रस्तावना का पाठ अंतरराष्ट्रीय लोकतंत्र दिवस के अवसर पर किया गया। उनके साथ राज्य के उपमुख्यमंत्री डीके शिव कुमार भी थे।
नेशनल हेरल्ड की एक खबर के मुताबिक राज्य के समाज कल्याण मंत्री एचसी महादेवप्पा ने बताया कि संविधान की प्रस्तावना एक साथ पढ़ने की अपील की गई थी। इसके बाद 2.28 करोड़ लोगों ने एक साथ संविधान पढ़ने के लिए अपना नाम ऑनलाइन रजिस्टर कराया। इन लोगों में कर्नाटक सहित अन्य प्रदेशों के लोग साथ ही विदोश से भी लोगों ने अपना नाम रजिस्टर कराया था। हमने उम्मीद की थी कि पांच से दस लाख लोग अपना नाम रजिस्टर कराएंगे, पर संविधान बचाना और प्रस्तावना का पाठ एक आंदोलन बन गया।
याद रहे देश के कई कई राजनीतिक दल, सामाजिक संगठन संविधान पर खतरे से लोगों को आगाह करते रहे हैं और देश में संविधान बचाओं देश बचाओ नारे के साथ कई तरह के कार्यक्रम हो रहे हैं। इन संगठनों में दलित और कमजोर वर्ग के संगठन सबसे ज्यादा मुखर हैं। कर्नाटक में कांग्रेस सरकार की इस पहल को राजनीतिक रूप से भाजपा को कटघरे में खड़ा करने तथा 2024 लोकसभा चुनाव में उसे भारी शिकस्त देने की तैयारी के रूप में देखा गया है।