अन्तरराष्ट्रीय अंगदान दिवस सुशील मोदी ने लोगों से आह्वान किया कि वे अपना अंगदान करें. हालांकि उन्होंने इस अवसर पर अपने बारे में कुछ नहीं कहा.
दघीचि देह दान समिति की ओर से रबिन्द्र भवन में आयोजित ‘ संकल्प महोत्सव ’ को सम्बोधित करते हुए उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने कहा कि ‘जीते जी रक्तदान व मरने के बाद जिन्दगी की दूसरी पारी के लिए अंगदान-देहदान’ करें।
उन्होंने कहा कि भारत सरकार द्वारा मोटर वाहन एक्ट में संशोधन कर ड्राइविंग लाइसेंस लेने के दौरान फार्म में ही अंगदान-देहदान की स्वीकृति देने का प्रावधान के बाद बिहार में अब तक 9,447 लोगों ने अंगदान-देहदान के लिए अपनी स्वीकृति दी है। पीएमसीएच में आई बैंक की शुरूआत के बाद अब आगामी 02 अक्तूबर को राज्य के 7 मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में भी आई बैंक की स्थापना कर दी जायेगी। राज्य के 6 अस्पतालों को किडनी और क्रोनिया प्रत्यारोपण के लिए लाइसेंस दिया गया है।
श्री मोदी ने कहा कि राज्य के सभी अस्पतालों में ब्रेन डेड समिति व अंगदान के लिए राज्य स्तरीय समिति का गठन किया जायेगा। राज्य के सभी मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में अंगदान-देहदान के लिए मरीजों के परिजनों को प्रेरित करने के लिए काउंसलर नियुक्त किए जायेंगे।
आम लोगों से नेत्रदान को मुहिम बनाने का आह्वान करते हुए कहा कि आने वाले दिनों में क्रोनिया के अभाव में किसी को अंधेपन का शिकार नहीं होना पड़ेगा। राज्य में अब तक 250 लोगों का क्रोनिया प्रत्यारोपण किया गया है तथा 3 लोगों ने अपना शरीर अस्पतालों को दान किया है। बिहार में 2013 में दघीचि देहदान समिति की स्थापना के बाद नेत्रदान, अंगदान और देहदान के प्रति लोगां में जागरूकता आई है।
नेत्रदान, अंगदान, देहदान के लिए संकल्प लेने से पहले परिवार में चर्चा करें, सोचें और फिर संकल्प लें। भारत में दान की प्राचीन परम्परा रही है। विश्व के पहले चक्षु दानकर्ता भगवान विष्णु रहे हैं। दधीचि ने आसुरी शक्तियों के विनाश के लिए अपनी अस्थियां दान कर दी तथा मृत्युशैय्या पर होने के बावजूद दानवीर कर्ण ने सोने की दांत निकाल कर दान करने में संकोच नहीं किया।
संकल्प महोत्सव को मेघालय के राज्यपाल गंगा प्रसाद, विहिप के अन्तरराष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष आलोक कुमार, केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री जे पी नड्डा, केन्द्रीय राज्य स्वास्थ्य मंत्री अश्विनी चौबे, राज्य के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पाण्डेय, विधायक संजीव चौरसिया आदि ने सम्बोधित किया तथा मंच संचालन समिति के सचिव विमल जैन ने किया। इस मौके पर नेत्रदान करने वाले 15 परिवारों को सम्मानित किया गया।