उपेंद्र ने की विशेष दर्जा की मांग, जदयू नेताओं ने नहीं दी तवज्जो
नीति आयोग की रैंकिंग में सबसे नीचे रहने पर हो रही बदनामी के बीच उपेंद्र कुशवाहा ने पीएम से विशेष दर्जा देने की मांग की, पर जदयू नेताओं ने नहीं दी तवज्जो।
उपेंद्र कुशवाहा जदयू के बड़े नेता है। संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष हैं। यह पद राष्ट्रीय अध्यक्ष के समकक्ष होता है। कल जब नीति आयोग की रैंकिंग में बिहार सबसे नीचे आया, तब से देशभर में नीतीश कुमार के सुशासन पर सवाल उठ रहे हैं।
24 घंटे बाद जदयू संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के सुसासन के बचाव में उतरे। उन्होंने ट्वीट करके प्रधानमंत्री मोदी से बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देने की मांग की, पर जदयू के किसी दूसरे बड़े नेता ने कुशवाहा के ट्वीट को रिट्वीट नहीं किया। और तो और, पार्टी का अपना ट्विटर अकाउंट है, उससे भी कुशवाहा की मांग को रिट्वीट नहीं किया।
उपेंद्र कुशवाहा ने आज लगभग दो बजे ट्विट किया- बिहार-झारखंड विभाजन उपरांत प्राकृतिक संपदाओं का अभाव और बिहारवासियों पर प्राकृतिक आपदाओं का लगातार दंश के बावजूद @NitishKumar जी के नेतृत्व में NDA सरकार अपने कुशल प्रबंधन से बिहार में विकास की गति देने में लगी है। इसके बाद उन्होंने दुबारा ट्वीट किया– लेकिन वर्तमान दर पर अन्य राज्यों की बराबरी संभव नहीं है। @NITIAayog की हालिया रिपोर्ट इसका प्रमाण है। अतः विनम्र निवेदन है कि ‘बिहार को विशेष राज्य का दर्जा’ देने की @Jduonline की वर्षो लंबित मांग पर विचार करें और बिहार वासियों को न्याय दें।
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उपेंद्र कुशवाहा ने बेहद विनम्र शब्दों में प्रधानमंत्री से आग्रह किया है, इसे आप दबाव भी नहीं कह सकते। उनके ट्वीट को पूर्व में रालोसपा-जदयू ने जरूर रिट्वीट किया है, पर खुद जदयू ने नहीं किया है, जो ट्विटर पर सक्रिय है। क्या यह पार्टी में खेमेबाजी का परिणाम है या खुद पार्टी लाज बचाने के लिए औपचारिक ट्वीट मान रही है।