जनता दल राष्ट्रवादी के राष्ट्रीय कंवेनर अशफाक रहमान ने इस्लामी नव वर्ष पर मुसलमानों में मसलकी विवाद,व्यक्तिवाद, मुहर्रम की अखाड़ाबाजी जैसे दीगर गैर इस्लामी रीतियों को खत्म करने की मुसलमानों से अपील की है.
अशफाक रहमान ने अल्लाह से दुआ की है कि मुसलमानों में बढ़ता गैरइस्लामी रुझान खत्म हो और लोग मानवता के उच्च आदर्शों पर चलने के लिए इस्लाम के बुनियादी उसूलों को अपनायें. अशफाक रहमान ने उर्दों अखबारों में प्रकाशित अपनी विशेष दुआ में बड़े भावुक अंदाज में अपनी बातें रखी हैं.
गौरतलब है कि सोमवार से इस्लामी नव वर्ष की शुरुआत हुई है और वर्ष के पहले महीने मुहर्रम की दस तारीख को यौम ए आशुरा मनाया जाता है. इस अवसर पर बड़े पैमाने पर ताजियादारी और अखाड़े की परिपाटी दशकों से चली आ रही है. उन्होंने कहा कि मुहर्रम के अवसर पर मुसलमानों में बड़े पैमाने पर खुराफात और जाहिल परिपाटी विकसित हो गयी है लेकिन इमामों, मुस्लिम बुद्धिजीवियों, और शिक्षित लोग इस पर चुप हैं जिससे से हालात और बुरे होते जा रहे हैं.
उन्होंने कहा कि इस्लाम के एक रास्ते के बजाये अब मुसलमान अब 72 से भी ज्यादा समुहों में बंट गये हैं जिससे मुसलमानों में आपसी भाईचारे का माहौल खत्म होता जा रहा है. उन्होंने अपील की मुसलमान अगर सच्चा मुसलमान बन कर एक साथ कांधे से कांधा मिला कर काम करें तो इससे समाज और पूरे देश को फायदा होगा.
उन्होंने भारत की दो प्रसिद्ध इस्लामी विचारधारा- देवबंद और बरैलवी स्कूल ऑफ थाट के बीच आपसी एकता को मजबूत बनाने की अपील की और कहा कि दोनों विचारों के लोग आपस में मिल कर समाज और को आगे बढ़ाने का काम करें.