सिखों के पांच पवित्र तीर्थस्थलों में से एक पटना साहिब के तख्त हरमंदिर के ग्रंथी पद के लिए हुए खूनी संघर्ष में मुख्य ग्रंथी समेत दो लोग घायल हो गये हैं जबकि तीन अन्य चोटिल हुए हैं.
दीपक मंडल
मालूम हो कि अभी तख्त श्री हरमंदिर में 347वां प्रकाश उत्सव मनाया जा रहा है. इस अवसर पर 2017 में 350वां प्रकाशोत्सव के लिए अतिरिक्त मुख्यग्रंथी का चुनाव होना था लेकिन इसी बीच इस पद के लिए हुए दो गुटों के बीच तलवारबाजी शुरू हो गयी और मुख्य ग्रंथी ज्ञानी इकबाल सिंह और उनके बेटे घायल हो गये.
यह खूनी संघर्ष 2017 में आयोजित होने वाले प्रकाशोत्सव के लिए अतिरिक्त मुख्य ग्रंथी के पद पर नामांकन को ले कर हुआ.
हाशमी ने बताया कि एक गुट ने 350वें प्रकाशोत्सव के लिए प्रताप सिंह को अतिरिक्त मुख्य ग्रंथी नामित कर दिया. इसके बाद आपस में विवाद बढ़ता चला गया और प्रताप सिंह गुट और ज्ञानी इकबाल सिंह गुट के बीच तलवारें तन गयीं. लोगों ने एक दूसरे के खिलाफ किरपान तान दिया.
कानून और व्यवस्था की गंभीर स्थिति को देखते हुए पटना के एसपी और दीगर पुलिस पदाधिकारी अब भी गुरुद्वारे में मौजूद हैं. इस बीच घायलों को इलाज के लिए भेजा गया है. पुलिस अधिकारियों का कहना है कि अब स्थिति सामान्य है. पर खबर है कि इस मामले में किसी के खिलाफ एफआईआर दर्ज नहीं हुआ है.
मालूम हो कि तख्त श्री हरमंदिर पटना साहब, दुनिया भर में सिखों के महान धार्मिक स्थलों में से एक है. यहां गुरू गोविंद सिंह का जन्म हुआ था.
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