चिराग के बाद AIMIM को तोड़ने की तैयारी में जदयू
जनता दल युनाइटेड पिछले छह महीनों से विभिन्न क्षेत्रीय दलों का वजूद कामयाबी के साथ मिटा चुका है. चिराग से बदला चुकाने के बाद क्या उसका अगला निशान AIMIM है.
महज सात महीने में चिराग पासवान से सियासी बदला लेने वाले जनता दल यू की नजर अब असददुद्दीन ओवैसी की पार्टी All India majlis e Ittehadul Muslemin ( AIMIM) पर है.
AIMIM के बिहार असेम्बली में पांच सदस्य हैं. चर्चा है कि जनता दल का अलग मिशन ओवैसी की पार्टी के बिहार के विधायकों पर है. 2020 विधान सभा चुनाव में महज 43 सीटें जीत कर मुख्यमंत्री की कुर्सी तक पहुंचने वाले नीतीश कुमार की पार्टी ने अब तक दो क्षेत्रीय दलों के वजूद को समाप्त कर दिया है.
BSP, RLSP, LJP का असेम्बली से वजूद किया खत्म
सबसे पहले उसने बहुजन समाज पार्टी के एक मात्र विधायक जमा खान को अपनी पार्टी में मिलाया. उन्हें अल्पसंख्यक कल्याण विभाग का मंत्री बनाया. उसके बाद चिराग पासवान के इकलौते विधायक राज कुमार सिंह को जदयू ने अपने खेमे में करके एलजेपी के वजूद को विधान सभा से मिटा दिया. इतना ही नहीं नीतीश कुमार की सधी हुई रणनीति उपेंद्र कुशवाहा तक जा पहुंची. मुख्यमंत्री ने कुशवाहा को इस शर्त पर विधान पार्षद बनाया कि वह अपनी सात साल पुरानी पार्टी राष्ट्रीय लोक समता पार्टी का विलय जदयू में कर लें. कुशवाहा ने वैसा ही किया. आज कुशवाहा जदयू के विधायक और संसदीय दल के अध्यक्ष बन चुके हैं.
चिराग ने जारी की चाचा-भतीजे के रिश्तों की पुरानी चिट्ठी
पार्टियों को तोड़ने का चलन अमूमन हर सत्ताधारी पार्टी करती रही है. न तो इसका अपवाद कांग्रेस है, न भाजपा और न ही राष्ट्रीय जनता दल. ऐसे में पिछले सात महीने में जदयू ने अनेक दलों के वजूद को मिटा दिया है. इस तरह कह सकते हैं कि ये तमाम राजनीतिक उपलब्धिया हैं, जो नीतीश के हिस्से में हैं.
2020 विधान सभा चुनाव में उम्मीदों से बुरा प्रदर्शन करने वाले जदयू का सबसे बड़ा मिशन फिलवक्त यही है कि किसी भी तरह जदयू का विस्तार हो. इसी रणनीति के तहत अब तक जदयू ने काम किया है और इसमें सफल भी रहा है.
अब सवाल यह है कि जदयू का अगला टार्गेट क्या है?
राजनीतिक जानकारों का मानना है कि निसंदेह जदयू का अगला निशाना असदुद्दीन ओवैसी के नेतृत्व वाली एआईएमआईएम है. इसके पांच विधायक विधान भे में पहली बार जीते हैं. अख्तरुल ईमान विधायक दल के नेता व पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष हैं.
अख्तरुल ईमान इससे पहले जनता दल यू में रहे हैं. इसलिए उनकी जनता दल यू नेतृत्व के साथ अच्छी केमिस्ट्री भी रही है. आप को याद होगा कोई दो महीने पहले अख्तरुल ईमान अपने तमाम सहयोगी विधायकों के साथ मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मुलाकात भी कर चुके हैं. हालांकि उस मुलाकात के बाद अख्तरुल ईमान ने कहा था कि हमारी मुलाकात सीमांचल के विकास के मुद्दों के लिए हुई थी.
ऐसे में इस बात से इनकार नहीं किया जा सकता कि जनता दल यू असदुद्दीन औवैसी की पार्टी को बख्शने के मूड में है. अब समय बतायेगा कि