मिठाई और केक नहीं, उपेंद्र कुशवाहा कर रहे भूंजा पार्टी
न मिठाई, न कोल्ड ड्रिंक्स। उपेंद्र कुशवाहा के लिए कार्यकर्ता भूंजा पार्टी आयोजित कर रहे हैं। सब साथ भूंजा खाते हैं। जनता से जुड़ाव का यह कुशवाहा मॉडल है।
कार्यकर्ता और नेता के बीच की दूरी समाप्त करने के लिए उपेंद्र कुशवाहा भूंजा पार्टी में शामिल हो रहे हैं। अपने बिहार दौरे के पहले चरण में भी वे कार्यकर्ताओं के साथ भूंजा खाते दिखे थे। बिहार यात्रा के दूसरे चरण में भी यह नजारा दिख रहा है। उपेंद्र कुशवाहा पचासों कार्यकर्ताओं के साथ बैठकर भूंजा खा रहे हैं। कार्यकर्ताओं के साथ एकरूपता स्थापित करने का यह तरीका कार्यकर्ताओं को भी पसंद आ रहा है।
आज शाम उपेंद्र कुशवाहा बेनसागर (विक्रमगंज) पहुंचे। यह दलित गांव है। यहां ग्रामीणों ने कुशवाहा के लिए भूंजा का इंतजाम किया था। खुद उपेंद्र कुशवाहा को भी भूंजा पार्टी पसंद आ रही है। उन्होंने ट्वीट किया- दलित बस्ती में भूंजा-चाय के साथ स्थानीय साथियों व आमजनों के साथ जनसमस्याओं एवं स्थानीय मुद्दों पर बातचीत हुई।
कार्यकर्ता भी खुश हैं। भूंजा का इंतजाम करना ग्रामीणों के लिए आसान और कम खर्चीला है। वे इत्मीनान के साथ चर्चा करते हैं।
आज बिक्रमगंज में उन्होंने पार्टी के प्रखंड कार्यालय का उद्घाटन भी किया। मौना, चांद मार्केट में अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों से मिले। उपेंद्र कुशवाहा की यात्रा में अब पार्टी के बड़े नेता भी शामिल होने लगे हैं। कल जदयू के वरिष्ठ नेता और पूर्व मंत्री जयकुमार सिंह ने भी उपेंद्र कुशवाहा का स्वागत किया था। उन्होंने दाउदनगर में स्वागत किया। इस अवसर पर बड़ी संख्या में स्थानीय नेता-कार्यकर्ता मौजूद थे।
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उपेंद्र कुशवाहा आज भी ऐसे कार्यकर्ताओं के घर गए, जिनके यहां कोरोना के कारण किसी का निधन हुआ। आज वे रमन डिहरा, विक्रमगंज पहुंचे। यहां अंजनी सिंह एवं गोपाल सिंह कुशवाहा का कोरोना संक्रमण के कारण निधन हो गया था। कुशवाहा ने शोकाकुल परिजनों से मुलाकात की और ढाढ़स बंधाया।
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