भाजपा से बगावत करके काराकाट से निर्दलीय चुनाव लड़ने वाले पवन सिंह ने आज अपनी ही पार्टी के नेताओं को हड़का दिया। मीडिया में कल से खबरें चल रही थीं कि पवन सिंह को नाम वापस लेना होगा। नाम वापस नहीं लेने पर भाजपा कार्रवाई करेगी। अब बुधवार को पवन सिंह ने करारा जवाब दिया है। कहा कि वे कोई क्रिमिनल नहीं हैं कि पार्टी कार्रवाई करेगी। दरअसल दो दिन पहले राज्य सरकार में मंत्री और भाजपा के वरिष्ठ नेता प्रेम कुमार ने कहा था कि अगर पवन सिंह नामजदगी का पर्चा वापस नहीं लेंगे, तो पार्टी उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई करेगी।
पवन सिंह चुनाव लड़ने पर आमादा है, इसका प्रमाण यह है कि उनकी मां प्रतिमा देवी ने भी निर्दलीय नामांकन कर दिया है। उन्हें भय था कि काराकाट में सूरत कांड करने की कोशिश की जा सकती है। उनका नामांकन रद्द किया गया, तो उसकी भी तैयारी उन्होंने कर ली है। नामांकन रद्द होने पर उनकी मां चुनाव लड़ेंगी। रवन सिंह ने बुधवार को फिर कहा कि चुनाव मैदान से हटने का सवाल ही नहीं उठता।
काराकाट चुनाव क्षेत्र में पवन सिंह को सवर्ण मतदाताओं का समर्थन मिलता दिख रहा है। उनकी नामांकन सभा में खासी भीड़ उमड़ी थी। हालांकि राजनीतिक प्रेक्षकों का मानना है कि प्रधानमंत्री मोदी के दौरे के बाद स्थितियां बदल सकती है। यहां एनडीए प्रत्याशी उपेंद्र कुशवाहा हैं। वे प्रधानमंत्री मोदी के नामांकन में बनारस गए थे। उसके बाद भाजपा सांसद सुशील मोदी के अंतिम संस्कार में शामिल हुए और उसी रात अपने क्षेत्र में वापस आ गए। कुशवाहा समर्थकों को भी उम्मीद है कि प्रधानमंत्री मोदी, गृह मंत्री अमित शाह के दौरे के बाद स्थितियां उनके अनुकूल होगी और आज जो पवन सिंह के प्रति समर्थन दिख रहा है, वह नहीं रहेगा।
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उधर इंडिया गठबंधन के प्रत्याशी राजाराम सिंह भी दिन-रात जन संपर्क कर रहे हैं। उनकी नामांकन सभा में तेजस्वी यादव भी मौजूद थे। काराकाट में फिलहाल पवन सिंह ने लड़ाई को तिकोना तो बना ही दिया है।