Pegasus : सवालों से घिरे राम, संशय में हनुमान
‘राम’ पर सवालों के तीर बरस रहे हैं। विरोधी खेमा गद्दी छोड़ने की मांग कर रहा। सबसे बड़ा तीर तो यह कि ‘राम’ ने राष्ट्र के साथ धोखा किया। महासंशय में ‘हनुमान’।
लोजपा अध्यक्ष चिराग पासवान प्रधानमंत्री को अपना राम घोषित कर चुके हैं। वे खुद को उनका हनुमान भी एलान कर चुके हैं। दो दिनों से प्रधानमंत्री मोदी पर देश के अपने ही नागरिकों की जासूसी करने का आरोप लग रहा है। देश ही नहीं, विदेश में भी बड़े-बड़े अखबारों में प्रधानमंत्री का फोटो छप रहा है, लेकिन ये फोटो जयकार के नहीं, बदनामी के हैं। इतना होने पर भी खुद को हनुमान कहनेवाले और समय आने पर कलेजा चीर कर दिखा देने का दावा करनेवाले चिराग पासवान लगता है किसी महासंशय में फंस गए हैं।
‘देसी गोदी मीडिया’ के एंकर कूद चुके हैं। एक एंकर ने कहा कि जिन पत्रकारों की जासूसी का आरोप लग रहा है, उनकी हैसियक दो कौड़ी की नहीं है।
आखिर चिराग पासवान किस महाशंसय में फंसे हैं? उनके ट्विटर टाइमलाइन पर जाइए, तो आपको चार भुजाओं वाले विष्णु जी की तस्वीर मिलेगी। चिराग ने ट्वीट किया है-सभी देशवासियों को देवशयनी आषाढ़ी एकादशी की हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं। भगवान श्री हरि विष्णु जी की कृपा से आप सभी के जीवन में सुख, शांति और समृद्धि का वास हो, यही मैं कामना करता हूं।
‘हनुमान जी’ के मन की बात समझनी मुश्किल है। क्या चिराग पासवान किसी बात का बदला ले रहे हैं। जब पारस ने पार्टी कोड़ी तब चिराग ने कहा था कि हनुमान संकट में है, लेकिन राम मदद को नहीं आ रहे। हालांकि बाद में उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी के खिलाफ कभी इशारों में भी कोई आलोचना नहीं की। आखिर अब मौन क्यों?
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चिराग पासवान ने देवशयनी आषाढ़ी एकादशी की शुभकामनाएं दी हैं। उनके समर्थक भी विष्णु भगवान की कृपा की आंकाक्षा जता रहे हैं।”पासवान युवा एकता मिशन” के संयोजक विराज पासवान ने भी विष्णु भगवान की स्तुति की है और चिराग के लिए शुभ मांगा है। चिराग पासवान और उनके समर्थक आखिर जासूसी कांड पर क्यों चुप हैं?
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