लोकसभा चुनाव में जबरदस्‍त पराजय के बाद आज पहली बार महागठबंधन के घटक दलों ने सरकार के खिलाफ एकजुटता प्रदर्शित करने का प्रयास किया। सभी नेताओं ने एक स्‍वर से राज्‍य सरकार को हर मोर्चे पर विफल बताया। रालोसपा के राष्‍ट्रीय अध्‍यक्ष और पूर्व केंद्रीय मंत्री उपेंद्र कुशवाहा की पहल पर डॉ लोहिया की पुण्‍यतिथि मनाने की घोषणा की गयी थी।

इसे महागठबंधन की एकजुटता का पैमाना भी मान लिया गया। पुण्‍यतिथि पर आयोजित कार्यक्रम में सभी घटक दलों के नेताओं ने हिस्‍सा लिया और एकजुटता प्रदर्शित की। इस कार्यक्रम में महागठबंधन के घटक राजद, कांग्रेस, रालोसपा, हम और वीआईपी के सभी दिग्गज नेता एकसाथ मंच पर दिखे। इनके अलावा माकपा के नेता भी साथ रहे।

इस मौके पर रालोसपा अध्यक्ष एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि बिहार में बाढ़ और जलजमाव ने नीतीश सरकार के विकास कार्य की पोल खोलकर रख दी है। बाढ़ और जलजमाव से प्रदेश की राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) सरकार की नाकामी स्पष्ट रूप से दिखाई पड़ती है। उन्होंने कहा कि सरकार ने बड़े-बड़े दावे तो जरूर किये थे लेकिन आज परिणाम सबके सामने है।

श्री कुशवाहा ने कहा कि राज्य में डेंगू से लोग पीड़ित हो रहे हैं और सरकार सिर्फ दावा कर अपना पल्ला झाड़ ले रही है। डेंगू पीड़ितों को कोई देखने वाला नहीं है। राजधानी के जलजमाव वाले इलाके में दवा का छिड़काव भी सही ढंग से नहीं किया जा रहा है, जिसके कारण महामारी फैलने की आशंका बनी हुई है। उन्होंने कहा कि पटना में जलजमाव को लेकर राजग के घटक दलों के बीच ही तू-तू मैं-मैं चल रहा है।

राजद के वरिष्ठ नेता एवं विधानसभा में प्रतिपक्ष के नेता तेजस्वी प्रसाद यादव ने कहा कि बिहार के मुख्यमंत्री एवं जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष नीतीश कुमार की महागठबंधन में कभी वापसी नहीं होगी। श्री कुमार (चाचा) पलटूराम के अब पलटने से भी उन्हें महागठबंधन में जगह नहीं मिलने वाली है। उन्होंने कहा कि उनके पिता राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव ने भाजपा का रथ रोका था और वह भी भाजपा या आरएसएस से डरने वाले नहीं हैं।

पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव ने कहा कि डॉ राममनोहर लोहिया ने भारतीय राजनीति में समाजवाद की नयी धारा की शुरुआत थी, जिसने कांग्रेस के एकछत्र राज्‍य में सेंध लगायी थी और भारतीय सामाजिक व्‍यवस्‍था को पूरी तरह ध्‍वस्‍त कर दिया था। लोहिया ने वैचारिक शक्ति के सहारे आम आदमी के लिए लोकतंत्र सुनिश्‍चिति करने का भरसक प्रयास किया और इसी का परिणाम है कि राजनीति का सामाजिक ढांचा पूरी तरह बदल गया है। पूर्व मुख्‍यमंत्री जीतनराम मांझी ने कहा कि डॉ लोहिया की प्रासंगिकता आज भी बरकरार है। लोहिया की देन है कि आज लोकतंत्र में आम लोगों को विश्‍वास प्रगाढ़ हुआ है।

इस मौके पर हम के वीआईपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मुकेश सहनी, कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. मदन मोहन झा, राजद के प्रदेश अध्यक्ष रामचंद्र पूर्वे, राजद विधायक अब्दुल बारी सिद्दीकी, माकपा के राज्य सचिव अवधेश कुमार ने भी कार्यक्रम को संबोधित किया।

By Editor