अपने अपमान के खिलाफ 14 नवंबर को मौन प्रदर्शन करेंगे मांझी
अपने अपमान के खिलाफ 14 नवंबर को मौन प्रदर्शन करेंगे मांझी। कहा, नीतीश ने मेरा ही नहीं, राज्य के दलितों का किया अपमान। जानिए और क्या-क्या आरोप लगाए।
पूर्व मुख्यमंत्री और हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा के संरक्षक जीतन राम मांझी कल मंगलवार, 14 नवंबर को पटना में मौन प्रदर्शन करेंगे। उन्होंने कहा कि विधानसभा में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने जिस तरह मेरा अपमान किया, वह पूरे दलित समजा का अपमान है। इसके प्रतिवाद में वे पटना उच्च न्यायालय के समीप स्थापित आंबेडकर प्रतिमा के सामने मौन धरना देंगे।
मांझी ने मीडिया से बात करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का आभार जताया कहा कि मेरे अपमान के खिलाफ आपने जिस तरह तेलंगाना सहित अन्य राज्यों आवाज उठाई उसके लिए वे आभारी है। उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी की प्रशंसा करते हुए कहा कि आप सर्वदा हमारे जैसे लोगों के साथ रहे हैं। दलितों का साथ दिया है। जब लोगों ने रामविलास पासवान का अपमान किया, तब भी आपने रामविलास जी का साथ दिया था।
हालांकि पूर्व मुख्यमंत्री मांझी ने यह नहीं बताया कि रामविलास पासवान का अपमान कब किया गया था और किस प्रकार प्रधानमंत्री मोदी ने पासवान का साथ दिया था। मांझी के इस फैसले से राजनीति में एक नया एंगल आ गया है। मौन प्रदर्शन नेहरू जयंती पर रखा गया है और कार्यक्रम आंबेडकर की प्रतिमा के समझ होगा।
मांझी ने खुद ट्वीट करके कहा कि मेरे अपमान के सहारे पूरे दलित समाज को ज़लील करने वाले मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के खिलाफ कल 14 नवम्बर 23 को सुबह 11.30 बजे पटना उच्च न्यायलय के निकट अंबेडकर स्मारक पर एक मौन प्रदर्शन का आयोजन किया गया है जिसमें सभी संगठनों के साथ-साथ मैं भी उपलब्ध रहुंगा। जय बिहार। पूर्व मुख्यमंत्री ने मीडिया से बात करते हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को उनके प्रजनन दर कम करने वाले बयान के लिए भी घेरा और कहा कि नीतीश कुमार ने महिलाओं का भी अपमान किया है।
मांझी के इस निर्णय पर खबर लिखे जाने तक किसी अन्य दल की प्रतिक्रिया सामने नहीं आई है।
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