पप्पू यादव कांग्रेस में जाएंगे, 5 सीटों पर मिलेगी ‘इंडिया’ को मजबूती
पप्पू यादव कांग्रेस में जाएंगे, 5 सीटों पर मिलेगी ‘इंडिया’ को मजबूती। जाप के विलय के लिए जारी वार्ता अंतिम चरण में। पूर्णिया से हो सकते हैं प्रत्याशी।
पूर्व सांसद पप्पू यादव की जन अधिकार पार्टी (जाप) का कांग्रेस में विलय हो सकता है। विलय के लिए जारी वार्ता अंतिम दौर में है। उनके कांग्रेस में शामिल होने से इंडिया गठबंधन को पूर्वांचल की पांच सीटों पर सीधा फायदा होगा। पूर्णिया, मधेपुरा, सुपौल, कटिहार, अररिया में उनका प्रभाव है। वैसे तो उनका कुछ-न-कुछ प्रभाव राज्य के हर जिले में है। लेकिन पूर्वांचल उनका खास क्षेत्र रहा है। वे लगातार अकेले दम पर सक्रिय रहे हैं। जनता के सुख-दुख में शामिल रहे हैं। कहीं भी दमन हो, कोई प्राकृतिक आपदा हो, पप्पू यादव अकेले पहुंच जाते हैं। याद रहे उनकी पत्नी रंजीत रंजन कांग्रेस की सांसद हैं।
पप्पू यादव पिछले महीने भर से पूर्णिया के गांवों में जन संपर्क अभियान चला रहे हैं। गांव-गांव जाकर आम लोगों से मुलाकात कर रहे हैं। वे लगातार केंद्र की मोदी सरकार, भाजपा और संघ की ध्रुवीकारण की राजनीति का मुखर विरोध करते रहे हैं। हाल में उन्होंने भाजपा से सवाल करते हुए कहा था-यूनिफार्म सिविल कोड वालों से एक सवाल यूनिफार्म रोज़गार कोड कब बनेगा? यूनिफार्म एजुकेशन कोड कब? यूनिफार्म हेल्थ राइट कोड कब? वस्तुतः यूनिफार्म सिविल कोड वाले राजनेता देश के लिए सबसे बड़े कोढ़ हैं?
मोटे तौर पर पप्पू यादव का जनाधार वही है, जो राजद का है। उनकी अपनी बिरादरी के अलावा मुस्लिमों तथा हर जाति के गरीबों में खास पकड़ रही है। वे कांग्रेस में शामिल होते हैं, तो उन्हें भी इसका फायदा मिलेगा। उनके जनाधार का फायदा कांग्रेस को भी मिलेगा और पूर्वांचल की कई सीटों पर इंडिया गठबंधन की स्थिति मजबूत हो जाएगी।
57 वर्षीय पप्पू यादव पांच बार सांसद और विधायक रह चुके हैं। 1990 में पहली बार सिंहेश्वर से विधायक बने। एक साल बाद ही वे पूर्णिया से निर्दलीय सांसद चुने गए। 2019 में बिना किसी दल से समझौता किए पप्पू यादव को मधेपुरा लोकसभा सीट से लगभग एक लाख वोट मिले थे। जेडीयू प्रत्याशी दिनेश चंद्र यादव चुनाव जीते थे। उन्हें 624334 मत मिले थे, जबकि राजद प्रत्याशी शरद यादव को 322807 मत मिले थे। राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव को 97631 वोट मिले थे। स्पष्ट है कि राजद से अलग उनके पास एक लाख वोट है। इस बार वे पूर्णिया से चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे हैं। जाहिर है मधेपुरा में उनका एक लाख वोट इंडिया गठबंधन को मिलेगा। इस तरह पप्पू यादव के कांग्रेस में शामिल होने से इंडिया गठबंधन को कई सीटों पर लाभ मिलेगा।
पूर्णिया का सामाजिक समीकरण
पूर्णिया में 60 प्रतिशत हिंदू तथा 40 प्रतिशत मुस्लिम आबादी है। यहां सात लाख मतदाता मुस्लिम हैं। डेढ़ लाख मतदाता यादव हैं। पांच लाख मतदाता एससी-एसटी तथा ओबीसी हैं। ब्राह्मण और राजपूत मतदाता सवा-सवा लाख हैं। इसके अलावा एक लाख अन्य जातियों के मतदाता हैं। फिलहाल यहां से जदयू के संतोष कुशवाहा सांसद हैं। पप्पू यादव 1996 तथा 1999 में दो बार यहां से सांसद रह चुके हैं। इस सामाजिक समीकरण में अगर वे इंडिया गठबंधन से प्रत्याशी बनते हैं, तो उनकी स्थिति अच्छी रहेगी।
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