ऑल इंडिया यूनाइटेड मुस्लिम मोर्चा के राष्‍ट्रीय उपाध्‍यक्ष सह प्रवक्‍ता कमाल अशरफ राइन ने आशंका जाहिर की कि देश सिविल वार की ओर जा रहा है. उन्‍होंने आज एक प्रेस नोट जारी कर कहा कि धर्म और जातियों को आपस में लड़ाकर, डराकर, नफरत फैलाकर इस मुल्‍क में वोट की राजनीति चल रही है. इसका नतीजा है कि देश सिविल वॉर की ओर जा रहा है. 

नौकरशाही डेस्‍क

उन्‍होंने कहा कि भय, भूखमरी, भ्रष्‍टाचार, बेरोजगारी, शराबखोरी, आदि को खत्‍म करने के लिए आज सबसे ज्‍यादा जरूरी है कि पहले दंगाबंदी की जाये. इसके लिए जरूरी है कि अल्‍पसंख्‍यक समाज को कानूनी सुरक्षा मिले. इसके लिए अलग – अलग कानून बनाने की भी जरूरत नहीं है. जिस अत्‍याचार निवारण अधिनियम में अनुसूचित जातियों, जनजातियों को रखा गया है, केंद्र व राज्‍य सरकार चाहे तो अल्‍पसंख्‍यकों को उसमें भी शामिल किया जा सकता है.

उन्‍होंने बताया कि ऑल इंडिया यूनाइटेड मुस्लिम मोर्चा देश की सलामती के लिए समाज को हमेशा सकारात्‍मक दिशा देने की कोशिश करता रहा है. इसी क्रम में आगामी 26 नवंबर को पटना के श्रीकृष्‍ण मेमोरियल हॉल में पूर्व राज्‍य सभा सांसद डॉ एम एजाज अली की अगुआई में ‘दंगाबंदी-नंगाबंदी’ कांफ्रेंस का आयोजन किया है, जिसमें राज्‍य भर से 10 हजार से ज्‍यादा की तादाद में लोग शामिल हो रहे हैं. श्री अशरफ ने कहा कि यह कार्यक्रम बापू सभागार में करना था, मगर वहां सरकारी कार्यक्रम होने के कारण मोर्चा को अपना कार्यक्रम वहां स्‍थगित करना पड़ा.

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