निकाय चुनाव : तूफानी रफ्तार में किया EBC सर्वे, 10 दिन में ही पूरा

बिहार के EBC आयोग ने अतिपिछड़ों की स्थिति का सर्वे केवल 10 दिन में ही पूरा कर लिया। देश में पहली बार इतने कम समय में सर्वे। दिसंबर में चुनाव संभावित।

इर्शादुल हक, संपादक, नौकरशाही डॉट कॉम

बिहार के EBC आयोग ने देश में नया रिकॉर्ड बना दिया है। हाईकोर्ट ने आयोग बना कर अतिपिछड़ों के राजनीतिक प्रतिनिधित्व तथा अन्य मुद्दों पर सर्वे का आदेश दिया था। इस सर्वे के आधार पर ही अतिपिछड़ों के आरक्षण का प्रतिशत तय होगा। इसके बाद राज्य में नगर निकाय चुनाव संपन्न होंगे। आयोग ने राज्य में सर्वे का काम केवल दस दिनों में ही पूरा कर लिया। सर्वे का काम इतने कम समय में राज्य के 1068 में 1052 वार्ड में हो गया। इस बीच आयोग ने 221 शहरों के 52 हजार लोगों से बात भी कर ली।

हाईकोर्ट के निर्देश पर राज्य सरकार ने अतिपिछड़ा आयोग का गठन किया। आयोग के अध्यक्ष ने सर्वे के लिए पटना स्थित एनएन सिन्हा शोघ संस्थान का सहयोग लिया। राज्य में ईबीसी के तहत 150 जातियां आती हैं। आयोग को इन जातियों के प्रतिनिधियों से बात करनी थी। यह जानना था कि इन जातियों का राजनीतिक प्रतिनिधित्व कितना है। शैक्षणिक व अन्य स्थितियां कैसी हैं। यह सब जानने के लिए एएन सिन्हा संस्थान ने एक प्रश्नावली भी तैयार की थी, जिस पर राज्य भर के 221 नगर निकायों से फीडबैक लेना था। अतिपिछड़ा वर्ग आयोग के अध्यक्ष हैं जदयू नेता डॉ. नवीन कुमार आर्य।

इतनी तूफानी रफ्तार में सर्वे किए जाने पर अभी से सवाल उठने लगे हैं कि क्या इतने कम समय में अतिपिछड़ों की 150 जातियों के प्रतिनिधियों से फीडबैक लेना संभव है। क्या 221 शहरों में विस्तार और गहराई से सर्वे संभव है।अब सबकी नजर सर्वे की रिपोर्ट और सिफारिशों पर है। माना जा रहा है कि आयोग दिसंबर के पहले हफ्ते तक अपनी रिपोर्ट और सिफारिश सौंप देगा। इसके बाद राज्य चुनाव आयोग फिर से नगर निकाय चुनाव की तारीखों का एलान करेगा। यह भी माना जा रहा है कि आयोग दिसंबर में नगर निकाय चुनाव करा सकता है।

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